राष्ट्रीय समाचार
भारत का घरेलू एयर ट्रैफिक नवंबर में दोहरे अंक में बढ़ा
नई दिल्ली, 25 दिसंबर। भारत में नवंबर में घरेलू मार्गों पर 1.42 करोड़ यात्रियों ने उड़ान भरी। इसमें सालाना आधार पर 12 प्रतिशत की बढ़ोतरी देखी गई है।
नागरिक विमानन महानिदेशालय (डीजीसीए) के आंकड़ों के मुताबिक, एयर ट्रैफिक में 63.6 प्रतिशत की हिस्सेदारी के साथ इंडिगो देश की शीर्ष एयरलाइन बनी हुई है। इसके बाद एयर ट्रैफिक में एयर इंडिया के पास 24.4 प्रतिशत, आकासा एयर के पास 4.7 प्रतिशत और स्पाइस जेट के पास 3.1 प्रतिशत बाजार हिस्सेदारी है।
एयर ट्रैफिक में नवंबर में एलायंस एयर की हिस्सेदारी 0.07 प्रतिशत रही है।
डीजीसीए की रिपोर्ट के मुताबिक, जनवरी-नवंबर 2024 के दौरान घरेलू एयरलाइनों द्वारा ले जाए गए यात्रियों की संख्या 14.64 करोड़ थी, जबकि पिछले वर्ष की इसी अवधि के दौरान यह संख्या 13.82 करोड़ थी। यह सालाना आधार पर यात्रियों की संख्या में 5.91 प्रतिशत की वृद्धि को दर्शाता है।
नवंबर में घरेलू हवाई यात्रियों की संख्या 1.42 करोड़ रही, जबकि एक साल पहले इसी अवधि में यह आंकड़ा 1.27 करोड़ था। नवंबर में हवाई यात्रा करने वाले यात्रियों की संख्या भी अक्टूबर के 1.36 करोड़ के आंकड़े से भी अधिक रही है।
हालांकि, नवंबर के दौरान बेंगलुरु, दिल्ली, हैदराबाद और मुंबई में शेड्यूल्ड घरेलू एयरलाइनों के ऑन टाइम परफॉर्मेंस (ओटीपी) में गिरावट आई है और यात्रियों को देरी का सामना करना पड़ा है।
आंकड़ों के अनुसार, इंडिगो का ओटीपी 74.5 प्रतिशत रहा, जबकि अकासा एयर और स्पाइसजेट का ओटीपी क्रमश: 66.4 प्रतिशत और 62.5 प्रतिशत रहा।
वहीं, एयर इंडिया और एलायंस एयर का ओटीपी क्रमश: 58.8 प्रतिशत और 58.9 प्रतिशत रहा।
आंकड़ों के अनुसार, नवंबर में 2,24,904 यात्री देरी से प्रभावित हुए। एयरलाइनों ने फंसे हुए यात्रियों की सुविधा के लिए करीब 2.9 करोड़ रुपये का भुगतान किया।
नवंबर के दौरान शेड्यूल घरेलू एयरलाइनों को यात्रियों से संबंधित 624 शिकायतें मिलीं।
नवंबर में कुल 3,539 यात्रियों को विमान में चढ़ने से मना कर दिया गया और उन्हें मुआवजा देने और सुविधाएं प्रदान करने के लिए एयरलाइनों द्वारा 2.84 करोड़ रुपये खर्च किए गए।
आंकड़ों से यह भी पता चलता है कि उड़ान रद्द होने से 27,577 यात्री प्रभावित हुए, जिसके लिए एयरलाइनों ने मुआवजे और सुविधाएं प्रदान करने के रूप में 36.79 लाख रुपये खर्च किए।
राजनीति
राष्ट्रपति भवन में प्रधानमंत्री राष्ट्रीय बाल पुरस्कार समारोह आयोजित, 17 बच्चे सम्मानित
नई दिल्ली, 26 दिसंबर। राष्ट्रपति भवन के सांस्कृतिक केंद्र में गुरुवार को राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने प्रधानमंत्री राष्ट्रीय बाल पुरस्कार से 17 बच्चों को सम्मानित किया। इन बच्चों को उनकी असाधारण उपलब्धियों के लिए सात विभिन्न श्रेणियों में पुरस्कार दिया गया। इस अवसर पर राष्ट्रपति ने कहा कि पूरे देश और समाज को इन पर गर्व है।
राष्ट्रपति श्रीमती मुर्मू ने बच्चों को संबोधित करते हुए कहा कि उन्होंने असाधारण कार्य किए हैं, आश्चर्यजनक उपलब्धियां हासिल की हैं, उनके पास असीमित क्षमताएं हैं और उनमें अतुलनीय गुण हैं। उन्होंने कहा कि ये बच्चे देश के अन्य बच्चों के लिए एक प्रेरणा हैं।
राष्ट्रपति ने कहा कि हमारे देश की परंपरा बच्चों को अवसर प्रदान करने और उनकी प्रतिभाओं को पहचानने की रही है। उन्होंने जोर दिया कि इस परंपरा को और मजबूत किया जाना चाहिए। जब हम 2047 में भारत की स्वतंत्रता की शताब्दी मनाएंगे, तो ये पुरस्कार विजेता बच्चे राष्ट्र के प्रबुद्ध नागरिक होंगे। ऐसे प्रतिभाशाली लड़के-लड़कियां एक समृद्ध और विकसित भारत के निर्माण में महत्वपूर्ण योगदान देंगे।
उन्होंने आगे कहा कि इस पुरस्कार से सम्मानित बच्चों ने देश को गौरवान्वित किया है और उन्होंने अपनी मेहनत, समर्पण और कार्यों से यह साबित कर दिया है कि वे समाज में सकारात्मक बदलाव लाने में सक्षम हैं।
बता दें कि प्रधानमंत्री राष्ट्रीय बाल पुरस्कार उन बच्चों को प्रदान किया जाता है जिन्होंने विभिन्न क्षेत्रों में असाधारण कार्य किए हैं।
राजनीति
2025-26 में राजकोषीय घाटा कम करने पर जोर देगी सरकार
नई दिल्ली, 26 दिसंबर। वित्त मंत्रालय के एक बयान के अनुसार, सरकार गुणवत्तापूर्ण व्यय में सुधार, सामाजिक सुरक्षा को मजबूत करने और वित्त वर्ष 2025-2026 में राजकोषीय घाटे को जीडीपी के 4.5 प्रतिशत तक कम करने पर ध्यान केंद्रित करना जारी रखेगी।
वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण द्वारा 1 फरवरी को संसद में 2025-26 के लिए केंद्रीय बजट पेश किया जाएगा। इस दौरान राजकोषीय घाटे को नियंत्रण में रखते हुए बड़े बुनियादी ढांचे की परियोजनाओं और गरीबों के लिए सामाजिक कल्याण योजनाओं पर खर्च बढ़ाने की सरकार की स्थिति को जारी रखे जाने की उम्मीद है।
प्राप्तियों और व्यय के रुझानों की अर्ध-वार्षिक समीक्षा पर वित्त मंत्रालय के बयानों के अनुसार, सरकार राजकोषीय कंसोलिडेशन के के ग्लाइड पथ पर चलने के लिए प्रतिबद्ध है, जिसका लक्ष्य वित्त वर्ष 2025-26 तक राजकोषीय घाटे को जीडीपी के 4.5 प्रतिशत तक कम करना है।
समीक्षा में कहा गया है, “सार्वजनिक व्यय की गुणवत्ता में सुधार लाने पर जोर दिया जाएगा, साथ ही गरीबों और जरूरतमंदों के लिए सामाजिक सुरक्षा को मजबूत किया जाएगा।
यह दृष्टिकोण देश के बड़े आर्थिक बुनियादी ढांचे को मजबूत करने और वित्तीय स्थिरता सुनिश्चित करने में मदद करेगा।”
बयानों के अनुसार, बजट 2024-25 यूरोप और मध्य पूर्व में युद्धों के कारण वैश्विक अनिश्चितताओं को ध्यान में रखते हुए पेश किया गया था।
भारत के मजबूत आर्थिक बुनियादी ढांचे ने देश को वैश्विक अर्थव्यवस्था को प्रभावित करने वाली अनिश्चितताओं से बचाया है।
बयान में कहा गया, “इसने देश को राजकोषीय समेकन के साथ विकास को आगे बढ़ाने में भी मदद की है। नतीजतन, भारत दुनिया में सबसे तेजी से बढ़ती अर्थव्यवस्थाओं में से एक के रूप में अपना गौरव बरकरार रखता है। हालांकि, विकास के लिए जोखिम अभी भी बने हुए हैं।”
2024-25 के बजट अनुमान के अनुसार कुल व्यय 48.21 लाख करोड़ रुपये अनुमानित था, जिसमें राजस्व खाते और पूंजी खाते पर व्यय क्रमशः 37.09 लाख करोड़ रुपये और 11.11 लाख करोड़ रुपये अनुमानित था।
48.21 लाख करोड़ रुपये के कुल व्यय के मुकाबले, वित्त वर्ष 2025 की पहली छमाही में व्यय 21.11 लाख करोड़ रुपये या बजट अनुमान का लगभग 43.8 प्रतिशत था।
पूंजीगत परिसंपत्तियों के निर्माण के लिए अनुदान को ध्यान में रखते हुए, प्रभावी पूंजीगत व्यय 15.02 लाख करोड़ रुपये अनुमानित किया गया था।
सकल कर राजस्व 38.40 लाख करोड़ रुपये अनुमानित था, जिसमें निहित कर-जीडीपी अनुपात 11.8 प्रतिशत था। केंद्र की कुल गैर-ऋण प्राप्ति 32.07 लाख करोड़ रुपये अनुमानित थी।
इसमें 25.83 लाख करोड़ रुपये का कर राजस्व (केंद्र को शुद्ध), 5.46 लाख करोड़ रुपये का गैर-कर राजस्व और 0.78 लाख करोड़ रुपये की विविध पूंजी प्राप्तियां शामिल थीं।
प्राप्तियों और व्यय के इन अनुमानों के साथ, राजकोषीय घाटा 2024-25 के बजट अनुमान में 16.13 लाख करोड़ रुपये या जीडीपी का 4.9 प्रतिशत आंका गया था।
वर्ष 2023-25 की पहली छमाही में राजकोषीय घाटा 4.75 लाख करोड़ रुपये या बजट अनुमान का लगभग 29.4 प्रतिशत रहने का अनुमान है।
केंद्रीय प्रत्यक्ष कर बोर्ड (सीबीडीटी) द्वारा जारी लेटेस्ट आंकड़ों के अनुसार, चालू वित्त वर्ष के दौरान 1 अप्रैल से 10 नवंबर तक भारत का शुद्ध प्रत्यक्ष कर संग्रह, जिसमें कॉर्पोरेट कर और व्यक्तिगत आयकर शामिल हैं, 15.4 प्रतिशत बढ़कर 12.1 लाख करोड़ रुपये हो गया।
इसी तरह, बढ़ती आर्थिक गतिविधियों के कारण जीएसटी संग्रह में भी शानदार वृद्धि हुई है।
कर संग्रह में उछाल से सरकार के खजाने में अधिक धनराशि आती है और इससे राजकोषीय घाटे को नियंत्रित करने में मदद मिलेगी, जो अर्थव्यवस्था के आर्थिक बुनियादी ढांचे को मजबूत करता है।
कम राजकोषीय घाटे का मतलब है कि सरकार को कम उधार लेना पड़ता है, जिससे बड़ी कंपनियों के लिए बैंकिंग प्रणाली में उधार लेने और निवेश करने के लिए अधिक पैसा बचता है। इससे बदले में उच्च आर्थिक विकास दर और अधिक नौकरियों के अवसर पैदा होते हैं।
इसके अलावा, कम राजकोषीय घाटा मुद्रास्फीति दर को भी नियंत्रित रखता है, जिससे अर्थव्यवस्था को स्थिरता मिलती है।
राष्ट्रीय समाचार
पुंछ हादसे में शहीद हुए जवान का बेलगावी लाया गया पार्थिव शरीर, राजकीय सम्मान के साथ होगा अंतिम संस्कार
बेलगावी, 26 दिसंबर। पुंछ हादसे में शहीद हुए कर्नाटक के शहीद का शव बेलगावी पहुंचा। सांबरा के सैनिक दयानंद थिरकन्नवर (45) का उनके पैतृक गांव में राजकीय सम्मान के साथ अंतिम संस्कार किया जाएगा।
देर रात 2 बजे जब पार्थिव शरीर कश्मीर से बेलगावी एयरपोर्ट लाया गया जहां अधिकारियों ने उन्हें श्रद्धांजलि अर्पित की।
दयानंद के पार्थिव शरीर को उनके गांव के प्राइमरी मराठी स्कूल में दर्शन के लिए रखा जाएगा। इसके बाद दोपहर 1 बजे पूरे राजकीय सम्मान के साथ उनका अंतिम संस्कार किया जाएगा।
दो और शहीद जवानों के पार्थिव शरीर भी लाए गए। ये पार्थिव शरीर अनूप (33) कुंदापुर के कोटेश्वर बिजाड़िया और महेश मारिगोंडा (25) के हैं।
कर्नाटक के मुख्यमंत्री सिद्धारमैया, उप-मुख्यमंत्री डीके शिवकुमार समेत कई गणमान्य व्यक्तियों ने शहीदों को श्रद्धांजलि अर्पित की।
बता दें कि यह हादसा जम्मू-कश्मीर के पुंछ में हुआ था, जहां एक सैन्य वाहन 350 फुट गहरी खाई में गिर गया था।
इस दुर्घटना में कर्नाटक के तीन जवान समेत कुल पांच जवान शहीद हो गए थे।
शुरुआती रिपोर्टों से पता चला है कि इस घटना में कई सैनिक गंभीर रूप से घायल हुए थे।
व्हाइट नाइट कॉर्पस ने सैनिकों के निधन पर संवेदना व्यक्त की थी। उन्होंने अपने एक्स अकाउंट पर एक पोस्ट शेयर करते हुए लिखा था, “पुंछ सेक्टर में ऑपरेशनल ड्यूटी के दौरान हुए एक वाहन दुर्घटना में पांच बहादुर सैनिकों के शहीद होने पर गहरी संवेदना व्यक्त करते हैं। बचाव अभियान जारी है और घायल कर्मियों का इलाज किया जा रहा है।”
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