अपराध
केंद्र ने सुप्रीम कोर्ट को बताया, ब्रिटेन में माल्या मामले में चल रही गुप्त कार्यवाही, प्रत्यर्पण में हो रही देरी

केंद्र सरकार ने सुप्रीम कोर्ट को बताया कि भगोड़े शराब कारोबारी विजय माल्या के प्रत्यर्पण का मामला समाप्त हो चुका है, लेकिन ब्रिटेन में इस मामले में कुछ गोपनीय कार्यवाही चल रही है, जिसकी जानकारी भारत को भी नहीं दी गई है। केंद्र ने कहा कि भारत को माल्या के प्रत्यर्पण में देरी की जा रही है। सुप्रीम कोर्ट में सोमवार को माल्या के खिलाफ अवमानना मामले की सुनवाई के दौरान केंद्र ने यह बात कही।
केंद्र का प्रतिनिधित्व कर रहे सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता ने न्यायमूर्ति यू. यू. ललित की अध्यक्षता वाली पीठ को बताया कि ब्रिटेन की शीर्ष अदालत ने प्रत्यर्पण का आदेश दे दिया था, लेकिन इस पर अमल नहीं हो रहा है। कुछ “गुप्त” कार्यवाही हो रही है, जिसके बारे में भारत सरकार को भी अवगत नहीं कराया गया है। भारत सरकार को न तो कोई जानकारी दी गई है और न उसे पक्षकार बनाया गया है।
पीठ ने माल्या के वकील अंकुर सहगल से कहा कि वे इन गोपनीय कार्यवाहियों की प्रकृति के बारे में अदालत को सूचित करें।
न्यायमूर्ति ललित ने सहगल से कहा कि वह अदालत को सूचित करें कि उनका मुवक्किल शीर्ष अदालत के समक्ष कब पेश होगा, ताकि अदालत की अवमानना के लिए सजा पर सुनवाई उनकी उपस्थिति में की जा सके, जिसके लिए वह पहले ही दोषी पाए जा चुके हैं।
शीर्ष अदालत ने माल्या के वकील से दो नवंबर तक इन सवालों के जवाब देने को कहा है।
सहगल ने कहा कि वह अपने मुवक्किल से निर्देश लेंगे।
31 अगस्त को सुप्रीम कोर्ट ने 2017 के फैसले की समीक्षा की मांग वाली माल्या की याचिका को खारिज कर दिया था, जिसने उन्हें अदालत की अवमानना के लिए दोषी ठहराया था। शीर्ष अदालत ने पांच अक्टूबर को अदालत के समक्ष माल्या को उपस्थित होने का निर्देश दिया था।
शीर्ष अदालत ने माल्या को अवमानना का दोषी माना था, क्योंकि शराब कारोबारी ने अपनी संपत्ति का पूरा हिसाब नहीं दिया था।
न्यायाधीश यू. यू. ललित और अशोक भूषण की पीठ ने पुनर्विचार याचिका को खारिज करते हुए कहा कि मामले में फिर से सुनवाई की अनुमति नहीं दी जा सकती है।
विजय माल्या बंद हो चुकी किंगफिशर एयरलाइंस के लिए बैंकों से लिए नौ हजार करोड़ रुपये से ज्यादा के कर्ज की अदायगी नहीं करने के मामले में आरोपी है। इस समय वह ब्रिटेन में रह रहा है, जिसके प्रत्यर्पण के लिए सरकार कोशिश कर रही है।
अपराध
दहिसर पश्चिम में 2 परिवारों के बीच हिंसक झड़प में 3 की मौत

मुंबई: रविवार को दहिसर पश्चिम में दो परिवारों के बीच झगड़े के दौरान तीन लोगों की कथित तौर पर हत्या कर दी गई। मृतकों की पहचान हामिद शेख (49), राम गुप्ता (50) और अरविंद गुप्ता (23) के रूप में हुई है। घटना दहिसर पश्चिम के गणपत पाटिल नगर में हुई। शेख और गुप्ता परिवार एक ही इलाके में रहते हैं और उनके बीच छोटी-छोटी बातों को लेकर लंबे समय से विवाद चल रहा है। रविवार को एक बार फिर दोनों परिवारों के बीच हथियारों से मारपीट हुई, जिसके परिणामस्वरूप तीन लोगों की मौत हो गई।
एमएचबी पुलिस क्रॉस-मर्डर केस दर्ज करने की प्रक्रिया में है। मुख्य आरोपी को अभी तक गिरफ्तार नहीं किया गया है, क्योंकि वह फिलहाल घायल है।
पुलिस के मुताबिक, गणपत पाटिल नगर एक झुग्गी बस्ती है, जहां शेख और गुप्ता दोनों परिवार रहते हैं। 2022 में अमित शेख और राम गुप्ता ने एक-दूसरे के खिलाफ मारपीट का क्रॉस केस दर्ज कराया था। तब से दोनों परिवारों के बीच दुश्मनी चल रही है।
रविवार को शाम करीब साढ़े चार बजे गणपत पाटिल नगर की गली नंबर 14 के पास सड़क पर विवाद हो गया, जहां राम गुप्ता नारियल की दुकान चलाते हैं। कथित तौर पर शराब के नशे में धुत हामिद शेख मौके पर पहुंचा और राम से बहस करने लगा। इसके बाद दोनों पक्षों ने अपने बेटों को बुला लिया।
गुप्ता अपने बेटों अमर गुप्ता, अरविंद गुप्ता और अमित गुप्ता के साथ तथा हामिद नसीरुद्दीन शेख अपने बेटों अरमान हामिद शेख और हसन हामिद शेख के साथ मिलकर हाथापाई और धारदार हथियारों से हिंसक झड़प में शामिल हो गए। झड़प में राम गुप्ता और अरविंद गुप्ता की मौत हो गई, जबकि अमर गुप्ता और अमित गुप्ता घायल हो गए। हामिद शेख की भी मौत हो गई और उनके बेटे अरमान और हसन शेख घायल हो गए।
शवों को कांदिवली पश्चिम के शताब्दी अस्पताल में पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया गया है। पुलिस क्रॉस-मर्डर केस दर्ज करने की प्रक्रिया जारी रखे हुए है। घायल होने के कारण आरोपी को अभी तक गिरफ्तार नहीं किया गया है।
अपराध
पाकिस्तान के लिए जासूसी के आरोप में यूपी का व्यापारी गिरफ्तार

लखनऊ, 19 मई। जासूसी के आरोप में गिरफ्तारी हुई हरियाणा की यूट्यूबर और ट्रैवल ब्लॉगर ज्योति मल्होत्रा के बाद अब उत्तर प्रदेश पुलिस की स्पेशल टास्क फोर्स (एसटीएफ) ने पाकिस्तान की इंटर-सर्विसेज इंटेलिजेंस (आईएसआई) के लिए जासूसी करने के आरोप में रामपुर से एक व्यवसायी को गिरफ्तार कर लिया है।
आरोपी की पहचान शहजाद के रूप में हुई है। उसे एसटीएफ की ओर से पाकिस्तान के लिए सीमा पार तस्करी और जासूसी गतिविधियों में शामिल होने की खुफिया जानकारी के आधार पर मुरादाबाद से गिरफ्तार किया गया। अधिकारियों के अनुसार, शहजाद पाकिस्तान में अपने आकाओं को राष्ट्रीय सुरक्षा से जुड़ी संवेदनशील जानकारी दे रहा था।
एसटीएफ ने एक बयान में कहा कि शहजाद हाल के वर्षों में व्यापार के बहाने कई बार पाकिस्तान गया था। वह कथित तौर पर सीमा पार से कॉस्मेटिक का सामान, कपड़े, मसाले और अन्य सामान की तस्करी में लिप्त था। एजेंसी ने खुलासा किया कि शहजाद अवैध व्यापार की आड़ में आईएसआई के गुप्त अभियानों के लिए काम करता था।
आगे की जांच से पता चला कि शहजाद ने न केवल पाकिस्तानी एजेंटों के साथ रणनीतिक जानकारी साझा की, बल्कि भारत में उनके संचालन को सुविधाजनक बनाने में भी भूमिका निभाई। एसटीएफ के अनुसार, वह भारत में सक्रिय आईएसआई एजेंटों को भारतीय सिम कार्ड और पैसा मुहैया कराता था।
अधिकारियों को यह भी पता चला कि शहजाद रामपुर और उत्तर प्रदेश के अन्य इलाकों से लोगों को आईएसआई के लिए काम करने के लिए पाकिस्तान भेजने का काम करता था। इन लोगों के लिए वीजा की व्यवस्था आईएसआई एजेंटों द्वारा की जाती थी।
शहजाद के खिलाफ भारतीय न्याय संहिता (बीएनएस) की धारा 148 और 152 के तहत पुलिस स्टेशन एटीएस, लखनऊ में एक एफआईआर (संख्या 04/25) दर्ज की गई।
बता दें कि शहजाद से पहले हरियाणा की ट्रैवल ब्लॉगर ज्योति मल्होत्रा की गिरफ्तारी हो चुकी है। हरियाणा पुलिस ने इस सप्ताह की शुरुआत में ज्योति को हिरासत में लिया था। 2023 में दो बार पाकिस्तान की यात्रा कर चुकीं मल्होत्रा को हरियाणा और पंजाब में फैले जासूसी नेटवर्क से कथित तौर पर जुड़े होने के बाद पांच दिनों के लिए पुलिस रिमांड पर रखा गया।
अपराध
अमृतसर में 14 लोगों की जहरीली शराब पीने से मौत, मुख्य आरोपी प्रभजीत सिंह गिरफ्तार

अमृतसर, 13 मई। पंजाब के अमृतसर के मजीठा में कम से कम 14 लोगों की जहरीली शराब पीने से मौत हो गई। इस मामले में पंजाब पुलिस ने बड़ी कार्रवाई की है। पुलिस ने मुख्य आरोपी प्रभजीत सिंह समेत कई लोगों को गिरफ्तार किया है।
मजीठा में नकली शराब मामले के मास्टरमाइंड मुख्य आरोपी प्रभजीत सिंह को गिरफ्तार कर लिया गया है। इसके अलावा, कुलबीर सिंह उर्फ जग्गू (मुख्य आरोपी प्रभजीत का भाई), साहिब सिंह उर्फ सराय, निवासी मारड़ी कलां, गुर्जंत सिंह और निंदर कौर पत्नी जीता, निवासी थीरेंवाल को गिरफ्तार किया गया है। अमृतसर ग्रामीण के एसएसपी ने इन गिरफ्तारियों की पुष्टि की है।
अवैध शराब मामले पर एसएसपी मनिंदर सिंह ने कहा कि सोमवार देर रात सूचना मिली थी कि कई गांवों में जहरीली शराब पीने से लोगों की मौत हुई है। इस मामले में पुलिस ने चार लोगों को गिरफ्तार किया है और उनसे पूछताछ के बाद पता चला कि मुख्य आरोपी प्रभजीत सिंह शराब को सप्लाई करने का काम करता है।
उन्होंने आगे कहा कि हमने मुख्य सप्लायर प्रभजीत सिंह को गिरफ्तार किया। हमने उससे पूछताछ की और किंगपिन सप्लायर साहब सिंह के बारे में पता लगाया। हमने उसे भी हिरासत में ले लिया है। हम इस बारे में जांच कर रहे हैं कि उसने किन-किन कंपनियों से यह शराब खरीदी है। हमें पंजाब सरकार की तरफ से सख्त निर्देश दिए गए हैं कि नकली शराब के सप्लायरों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाए और इसके चलते छापेमारी जारी है।
साथ ही पुलिस ने आरोपियों के खिलाफ बीएनएस की धारा 105 और 61ए एक्साइज एक्ट के तहत मामला दर्ज किया है। इसके साथ ही पुलिस पूरे नकली शराब नेटवर्क की जांच कर रही है।
इस बीच, पंजाब सरकार ने आरोपियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की बात कही है। पंजाब सरकार ने पुलिस को आदेश दिया है कि शराब माफियाओं का बख्शा नहीं जाए।
बता दें कि डिप्टी कमिश्नर साक्षी साहनी ने अमृतसर के उन गांवों का दौरा किया है, जहां जहरीली शराब पीने से कई लोगों की मौत हो गई थी। अधिकारी घटना की जांच कर रहे हैं और प्रभावित परिवारों को चिकित्सा सहायता सुनिश्चित कर रहे हैं।
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