खेल
डब्ल्यूपीएल 2025 : एलिमिनेटर में मुंबई इंडियंस ने धमाकेदार जीत के साथ खेली रिकॉर्ड्स की ‘होली’

मुंबई, 14 मार्च: वूमेन प्रीमियर लीग 2025 का एलिमिनेटर मुकाबला मुंबई के ब्रेबॉर्न स्टेडियम में 13 मार्च को खेला गया, जिसमें मुंबई इंडियंस वुमन ने गुजरात जायंट्स वुमन को 47 रनों से हराकर फाइनल में अपनी जगह पक्की कर ली।
इस मैच में मुंबई ने पहले बल्लेबाजी करते हुए 213/4 का स्कोर खड़ा किया, जिसके जवाब में गुजरात की टीम 19.2 ओवर में 166 रनों पर ढेर हो गई। हैली मैथ्यूज को उनके शानदार प्रदर्शन के लिए ‘प्लेयर ऑफ द मैच’ चुना गया।
वहीं, मुंबई इंडियंस की स्टार ऑलराउंडर नेट साइवर-ब्रंट ने एक बार फिर प्लेऑफ में अपनी काबिलियत साबित की। इस एलिमिनेटर में उन्होंने 41 गेंदों पर 77 रनों की ताबड़तोड़ पारी खेली और गेंदबाजी में भी 1/31 का योगदान दिया। इस लीग के प्लेऑफ इतिहास में उनका प्रदर्शन शानदार रहा है।
2023 के एलिमिनेटर में यूपी वॉरियर्ज के खिलाफ उन्होंने 38 गेंदों पर नाबाद 72 रन बनाए थे, वहीं फाइनल में दिल्ली कैपिटल्स के खिलाफ 55 गेंदों पर नाबाद 60 रन बनाए। 2024 के एलिमिनेटर में रॉयल चैलेंजर्स बेंगलुरु के खिलाफ 17 गेंदों पर 23 रन और अब 2025 में गुजरात के खिलाफ 77 रन – यह आंकड़े उनकी निरंतरता और बड़े मैचों में दबाव झेलने की क्षमता को दर्शाते हैं। वह प्लेऑफ में मुंबई की सबसे भरोसेमंद खिलाड़ी बन चुकी हैं।
इसके अलावा ब्रेबॉर्न स्टेडियम भी मुंबई इंडियंस के लिए एक मजबूत किला साबित हुआ है। महिला प्रीमियर लीग में किसी एक मैदान पर सबसे ज्यादा जीत के मामले में मुंबई ने ब्रेबॉर्न में 7 मैचों में 6 जीत हासिल की हैं, जो दिल्ली कैपिटल्स के एम. चिन्नास्वामी स्टेडियम (8 में 6 जीत) के रिकॉर्ड के बराबर है। इसके अलावा, मुंबई ने बेंगलुरु के एम. चिन्नास्वामी स्टेडियम में भी 7 में से 5 मैच जीते हैं। यह आंकड़ा दर्शाता है कि मुंबई की टीम मैदान और परिस्थितियों का बेहतरीन इस्तेमाल करना जानती है। खासकर ब्रेबॉर्न में उनकी बल्लेबाजी और गेंदबाजी का संतुलन उन्हें खतरनाक बनाता है।
मुंबई इंडियंस और गुजरात जायंट्स के बीच डब्ल्यूपीएल में अब तक 7 मुकाबले खेले गए हैं, और हर बार मुंबई ने जीत हासिल की है। यह किसी एक टीम के खिलाफ सबसे ज्यादा जीत का रिकॉर्ड है। इसके अलावा, मुंबई ने यूपी वॉरियर्स के खिलाफ भी 7 में से 5 मैच जीते हैं, जबकि दिल्ली कैपिटल्स ने रॉयल चैलेंजर्स बेंगलुरु को 7 में से 5 बार हराया है। गुजरात के खिलाफ मुंबई का यह दबदबा उनकी रणनीति, खिलाड़ियों के फॉर्म और टीम संयोजन का नतीजा है।
इस मैच में एक अनोखा रिकॉर्ड भी बना, जब आठ अलग-अलग खिलाड़ियों ने कम से कम एक-एक छक्का जड़ा। यह डब्ल्यूपीएल के इतिहास में किसी एक मैच में सबसे ज्यादा खिलाड़ियों द्वारा छक्के लगाने के मामले में संयुक्त रूप से सबसे बड़ा रिकॉर्ड है, जो पिछले साल बेंगलुरु में आरसीबी बनाम डीसी मैच के बराबर है।
मुंबई की ओर से हैली मैथ्यूज (50 गेंदों पर 70 रन), नेट साइवर-ब्रंट और हरमनप्रीत कौर ने आक्रामक बल्लेबाजी की, वहीं गुजरात की ओर से डेनियल गिब्सन, फोबे लिचफील्ड और भारती फुलमाली ने भी हवाई शॉट्स खेले।
इस सीजन में टॉस और चेज का खेल भी चर्चा में रहा। डब्ल्यूपीएल 2025 के पहले 17 मैचों में से 15 में दूसरी बल्लेबाजी करने वाली टीम जीती थी, लेकिन पिछले चार मैचों में पहले बल्लेबाजी करने वाली टीम ने बाजी मारी। इस एलिमिनेटर में मुंबई ने पहले बल्लेबाजी करते हुए यह ट्रेंड जारी रखा और जीत हासिल की।
एलिमिनेटर में जीत के साथ मुंबई इंडियंस वुमन अब फाइनल में दिल्ली कैपिटल्स से भिड़ेगी। यह मुकाबला उद्घाटन सत्र (2023) के फाइनल की पुनरावृत्ति जैसा होगा, जिसमें मुंबई ने दिल्ली को हराकर खिताब जीता था। हालांकि, इस सीजन में दिल्ली ने मुंबई को दो बार मात दी है, जिससे फाइनल में एक रोमांचक जंग की उम्मीद है।
खेल
ब्रेकिंग! जसप्रीत बुमराह को उनके कार्यभार को प्रबंधित करने के लिए इंग्लैंड बनाम भारत दूसरे टेस्ट के लिए आराम दिया जाएगा, रिपोर्ट का दावा

टीम इंडिया कथित तौर पर 2 जून से बर्मिंघम के एजबेस्टन में इंग्लैंड के खिलाफ शुरू होने वाले निर्णायक दूसरे टेस्ट के लिए जसप्रीत बुमराह की अनुपस्थिति से निपटने के लिए तैयार है। मीडिया रिपोर्टों के अनुसार, दाएं हाथ के तेज गेंदबाज को कार्यभार प्रबंधन के कारण खेल के लिए आराम दिया जाना तय है।
टीम इंडिया के कोच गौतम गंभीर ने पहले ही घोषणा कर दी थी कि दाएं हाथ का यह तेज गेंदबाज चोटिल होने की संभावना के कारण दौरे के दौरान केवल तीन टेस्ट ही खेलेगा। 31 वर्षीय इस खिलाड़ी को इस साल की शुरुआत में ऑस्ट्रेलिया दौरे के अंतिम चरण में पीठ में चोट लग गई थी, जिसके कारण वह सीरीज के अंतिम दिन गेंदबाजी करने में असमर्थ हो गए थे।
लीड्स के हेडिंग्ले में टीम इंडिया की पांच विकेट से हार के दौरान बुमराह का कार्यभार भी काफी अधिक रहा। उन्होंने पहली पारी में 24.4 ओवर और दूसरी पारी में 20 ओवर फेंके, लेकिन बाद की पारी में उन्हें कोई विकेट नहीं मिला। अर्शदीप सिंह और आकाश दीप टीम में दो अन्य अतिरिक्त गेंदबाज हैं, लेकिन बुमराह के बिना मेहमान टीम दबाव में होगी, जो एक बेहतरीन विकेट लेने वाले गेंदबाज हैं।
लीड्स में पहले टेस्ट के बाद गंभीर ने कहा कि भारत बुमराह को सिर्फ़ तीन टेस्ट में खिलाने की योजना में कोई बदलाव नहीं करेगा। बीबीसी स्पोर्ट के हवाले से पूर्व भारतीय ओपनर ने कहा:
“हम इसमें कोई बदलाव नहीं करेंगे। हमारे लिए उनके कार्यभार का प्रबंधन करना अधिक महत्वपूर्ण है। आगे बहुत सारा क्रिकेट होना है। देखते हैं कि उनका शरीर कैसा रहता है। हमने अभी यह तय नहीं किया है कि वह कौन से दो अन्य मैच खेलेंगे।”
राजनीति
अमेरिकी नेता जोहरान ममदानी पर कंगना रनौत नाराज, बोलीं- ‘भारतीय कम और पाकिस्तानी ज्यादा लगते हैं’

नई दिल्ली, 26 जून। बॉलीवुड अभिनेत्री और भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) की सांसद कंगना रनौत ने गुरुवार को भारतीय मूल के अमेरिकी नेता जोहरान ममदानी की आलोचना की। जोहरान ममदानी प्रसिद्ध फिल्म निर्माता मीरा नायर के बेटे हैं और न्यूयॉर्क सिटी के मेयर हैं। कंगना ने उन पर हिंदू विरोधी और पाकिस्तान समर्थक विचार रखने का आरोप लगाया।
राष्ट्रीय पुरस्कार विजेता अभिनेत्री कंगना रनौत ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म ‘एक्स’ पर एक पोस्ट शेयर किया, जिसमें उन्होंने जोहरान ममदानी के भारत को लेकर नफरत भरे विचारों पर हैरानी जताई।
कंगना ने कैप्शन में लिखा, “वह भारतीय कम और पाकिस्तानी ज्यादा लगते हैं।”
कंगना रनौत ने मीरा नायर के गुजराती मूल के मशहूर लेखक महमूद ममदानी से शादी का जिक्र किया। उन्होंने सवाल उठाया कि ऐसा क्यों लगता है कि उनका बेटा हिंदू धर्म को खत्म करना चाहता है।
कंगना ने तंज करते हुए लिखा, “उनकी मां मीरा नायर हैं, जो भारत की मशहूर फिल्म निर्माता हैं, पद्मश्री से सम्मानित, भारत में जन्मीं और पली-बढ़ीं, अब न्यूयॉर्क में रहती हैं। उन्होंने गुजराती मूल के प्रसिद्ध लेखक महमूद ममदानी से शादी की। उनका बेटा जोहरान ममदानी है, वह भारतीय से ज्यादा पाकिस्तानी लगता है।”
उन्होंने आगे कहा, “उनकी हिंदू पहचान या वंश के साथ जो कुछ भी हुआ, लेकिन अब वो हिंदू धर्म को मिटाने के लिए तैयार हैं, वाह!! हर जगह एक ही कहानी है।”
बता दें कि ममदानी कई बार प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के आपत्तिजनक शब्दों का इस्तेमाल कर चुके हैं। उन्होंने 2 अयोध्या में राम मंदिर के निर्माण के विरोध में टाइम्स स्क्वायर में प्रदर्शन का नेतृत्व किया था। बीते मई में उन्होंने पीएम मोदी की तुलना इजरायली प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू से की थी।
उन्होंने नेतन्याहू को युद्ध अपराधी करार दिया और वहीं 2002 के गुजरात दंगों की चर्चा करते हुए पीएम मोदी पर नरसंहार का आरोप लगाया था। इससे भारतीय-अमेरिकी समुदाय में उनके प्रति काफी गुस्सा है।
जोहरान ममदानी ने न्यूयॉर्क सिटी के मेयर पद के लिए डेमोक्रेटिक पार्टी के प्राइमरी चुनाव में पूर्व गवर्नर एंड्रयू क्युमो को हराकर बड़ी जीत हासिल की थी।
जीत के बाद उन्होंने ‘एक्स’ पर लिखा था, ”मुश्किल से मुश्किल काम भी नामुमकिन लगता है, जब तक वह पूरा नहीं हो जाए। मेरे दोस्तों, यह पूरा हो चुका है।”
राजनीति
सर गंगाराम अस्पताल में भर्ती शिबू सोरेन की हालत स्थिर, राष्ट्रपति ने की मुलाकात

रांची, 26 जून। भारत की राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने गुरुवार को नई दिल्ली में सर गंगा राम हॉस्पिटल पहुंचकर इलाजरत झारखंड मुक्ति मोर्चा के संस्थापक संरक्षक और झारखंड के पूर्व मुख्यमंत्री शिबू सोरेन से मुलाकात की और उनके स्वास्थ्य के बारे में जानकारी ली।
उन्होंने शिबू सोरेन के बड़े पुत्र और झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन और परिवार के अन्य सदस्यों से भी मुलाकात की और उनके इलाज के संबंध में बातचीत की।
राष्ट्रपति के आधिकारिक “एक्स” हैंडल पर इसकी जानकारी दी गई है। राष्ट्रपति के साथ अस्पताल में हेमंत सोरेन से बातचीत की तस्वीर भी साझा की गई है।
एक्स हैंडल पर लिखा गया है, “भारत की राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने सर गंगाराम अस्पताल में इलाजरत झारखंड के पूर्व मुख्यमंत्री शिबू सोरेन से मुलाकात की। उन्होंने शिबू सोरेन के पुत्र और झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन से उनके स्वास्थ्य के बारे में जानकारी ली।”
लंबे समय से अस्वस्थ चल रहे 81 वर्षीय शिबू सोरेन को कुछ दिन पहले नई दिल्ली के सर गंगाराम अस्पताल में दाखिल कराया गया है। बताया गया है कि उनकी हालत स्थिर है। उनके पुत्र झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन भी दो दिन पूर्व दिल्ली पहुंचे। शिबू सोरेन की बहू विधायक कल्पना सोरेन, उनके छोटे पुत्र विधायक बसंत सोरेन सहित परिवार के कई लोग दिल्ली में मौजूद हैं।
बुधवार की रात झारखंड के राज्यपाल संतोष कुमार गंगवार ने भी अस्पताल में शिबू सोरेन से मुलाकात की थी और मौके पर उपस्थित चिकित्सकों से उनके उपचार की प्रगति के संबंध में चर्चा की थी।
राज्यपाल ने उनके शीघ्र स्वस्थ होने की कामना की है। शिबू सोरेन झारखंड अलग राज्य के आंदोलन के प्रमुख नेता रहे हैं। झारखंड के आदिवासी समाज ने दशकों पहले उन्हें ‘दिशोम गुरु’ (देश का गुरु) का दर्जा दिया था। वह आम लोगों के बीच ‘गुरुजी’ के रूप में जाने जाते हैं। सोरेन केंद्र की सरकार में भी मंत्री रह चुके हैं।
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