अपराध
बिल्डर पे लापरवाही का आरोप, सात दिनों के अंदर बिल्डिंग खाली करने का आदेश, दारुल फैज बिल्डिंग के टेंट आ सकते हैं सड़कों पे
देश की आर्थिक राजधानी मुंबई में एक बार फिर बिल्डर की लापरवाही का खामियाजा टेनेंट्स को भुगतना पड़ रहा है…जानकारी के अनुसार भायखला के ई वार्ड सांखली क्रास लेन में स्थित चूनावाला कॉटेज उर्फ दारूल फैज नाम की इमारत के लोगों की परेशानी में इजाफा बिल्डर की गलती की वजह से हुआ है..चूनावाला कॉटेज उर्फ दारूल फैज नाम की इमारत के लोगों को बिल्डर ने ओसी नहीं दिया और टेनेंट्स बिना ओसी के चूनावाला कॉटेज में रहने लगे..बाद में कुछ लोगों ने इसकी शिकायत बीएमसी और एमएमआरडीए को की…
इसी शिकायत के बीएमसी ने सेक्शन 353-ए के तहत करीब 30 से 35 लोगों को नोटिस भेजा है..जिसमें बिल्डर अजीजुर्रहमान और लाइसेंस्ड सरवायर अंकित पी धारिया भी के नाम भी शामिल हैं…बीएमसी ने टेनेंट्स को सात दिन के भीतर खाली करने का नोटिस थमा दिया है..बिना ओसी के इमारत में रहना गैर कानूनी है.. बीएमसी के मुताबिक 7 दिन के भीतर इमारत खाली न करने वालों पर सख्त एक्शन लिया जाएगा…जानकारी के मुताबिक अब टेनेंट्स अदालत का सहारा ले सकते हैं..
आपको बता दें कि 2020 में ये इमारत बिल्डर अजीजुर्रहमान के द्वारा बनाई गई थी..
अपराध
सुप्रीम कोर्ट से पीएफआई के पूर्व अध्यक्ष अबूबकर को झटका, जमानत देने से किया इनकार
नई दिल्ली, 17 जनवरी। सुप्रीम कोर्ट ने शुक्रवार को प्रतिबंधित पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया (पीएफआई) के पूर्व अध्यक्ष ई. अबूबकर को आतंकवाद विरोधी कानून (यूएपीए) के तहत दर्ज मामले में मेडिकल आधार पर जमानत देने से इनकार कर दिया।
अबूबकर के वकील ने सुप्रीम कोर्ट में याचिका दायर की थी, जिसे कोर्ट ने खारिज कर दिया है। न्यायमूर्ति एमएम सुंदरेश और न्यायमूर्ति राजेश बिंदल की खंडपीठ ने मेडिकल रिपोर्ट देखने के बाद कहा कि इस समय अबू बकर को जमानत नहीं दी जा सकती।
साथ ही खंडपीठ ने अबूबकर के वरिष्ठ अधिवक्ता गोपाल शंकर नारायण की उस याचिका को भी खारिज कर दिया, जिसमें वैकल्पिक तौर पर उन्हें घर पर नजरबंद करने का अनुरोध किया गया था। साथ ही वरिष्ठ अधिवक्ता से कहा कि यदि आगे तबियत खराब होती है तो वह निचली अदालत का दरवाजा खटखटा सकते हैं।
राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) ने अबूबकर को 2022 में संगठन पर बड़े पैमाने पर कार्रवाई के दौरान गिरफ्तार किया था। तभी से वो जेल में बंद हैं।
मीडिया रिपोर्ट के अनुसार, इससे पहले दिल्ली हाईकोर्ट ने मेडिकल आधार पर दायर उनकी जमानत याचिका खारिज करते हुए जमानत देने से इनकार कर दिया था। इसके बाद अब सुप्रीम कोर्ट ने भी उनकी याचिका खारिज कर दी है।
राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) के मुताबिक, पीएफआई, उसके पदाधिकारियों और सदस्यों ने देश के विभिन्न हिस्सों में आतंकी वारदातों को अंजाम देने के लिए धन जुटाने की आपराधिक साजिश रची है और इस उद्देश्य के लिए अपने कार्यकर्ताओं को प्रशिक्षित करने के लिए शिविर आयोजित कर रहे थे।
गौरतलब है कि अबूबकर ने हाईकोर्ट में अपनी दायर याचिका में तर्क दिया था कि यूएपीए के तहत उनके खिलाफ एनआईए के मामले का समर्थन करने के लिए कोई सामग्री नहीं है। इसलिए वह जमानत के हकदार हैं। याचिका में यह भी दावा किया था कि वह 70 वर्ष के हैं, उन्हें पार्किंसंस रोग है और कैंसर के इलाज के लिए उनकी सर्जरी भी हो चुकी है। हालांकि, कोर्ट ने उनकी जमानत याचिका को खारिज कर दिया था।
अपराध
हैदराबाद में गोलीबारी करने वाले बीदर डकैती के दो संदिग्धों की तलाश जारी
हैदराबाद, 17 जनवरी। हैदराबाद पुलिस ने अफजलगंज इलाके में एक निजी ट्रैवल एजेंसी के मैनेजर पर गोलीबारी करने वाले बीदर डकैती के दो संदिग्धों की तलाश कर रही है।
पुलिस ने ऑटोरिक्शा में टैंक बंड की ओर भागने वाले संदिग्धों का पता लगाने के लिए आठ विशेष टीमें बनाईं। सीसीटीवी फुटेज खंंगालने के बाद पुलिस ने पाया कि अपराधी तीन पहिया वाहन में टैंक बंड की ओर जा रहे थे। पुलिस टैंक बंड से उनकी गतिविधियों का पता लगाने की कोशिश कर रही है।
माना जा रहा है कि संदिग्ध सिकंदराबाद की ओर भाग गए हैं। पुलिस कर्मियों ने उन्हें रोकने के लिए रेलवे और बस स्टेशनों के आसपास वाहनों की जांच की।
इस बीच, बीदर पुलिस की एक टीम भी जांच के लिए हैदराबाद पहुंची। उन्हें संदेह है कि आरोपी मध्य प्रदेश के रहने वाले हैं और छत्तीसगढ़ के रायपुर के रास्ते भागने की कोशिश कर रहे थे।
कर्नाटक के बीदर शहर में 93 लाख रुपये की लूट में शामिल दो संदिग्धों में से एक ने अफजलगंज में एक निजी ट्रैवल एजेंसी के मैनेजर पर तब गोली चला दी।
रोशन ट्रैवल्स के टिकट मैनेजर जहांगीर घायल हो गए और उन्हें पुराने शहर के प्रिंसेस एस्सरा अस्पताल में भर्ती कराया गया। रोशन ट्रैवल्स के मोअज्जम के अनुसार, दो लोग अमित कुमार के नाम से रायपुर के लिए टिकट बुक करने एजेंसी के कार्यालय आए थे।
वे अन्य यात्रियों के साथ शहर के बाहरी इलाके में जाने वाली एक मिनी बस में सवार हुए, जहां से रायपुर के लिए बस शुरू होनी थी। चूंकि दोनों व्यक्ति संदिग्ध लग रहे थे, इसलिए टिकट मैनेजर ने जोर देकर कहा कि वे बस में चढ़ते समय अपने बैग खोलें। उनमें से एक ने उसे चुप कराने के लिए नोटों का बंडल देने की कोशिश की।
हालांकि, जहांगीर ने पैसे लेने से इनकार कर दिया और उन्हें बैग खोलने को कहा। तभी उनमें से एक ने हथियार निकाला और जहांगीर पर गोली चला दी।
पुलिस उपायुक्त (पूर्वी क्षेत्र) बी. बालास्वामी ने कहा कि लुटेरों का पता लगाने के लिए विशेष टीमें गठित की गई हैं। पुलिस को संदेह है कि हमलावर गुरुवार सुबह बीदर शहर में हुई सनसनीखेज लूट में शामिल थे।
बाइक सवार हमलावरों ने छह राउंड गोलियां चलाईं, जिसमें एक सुरक्षा गार्ड की मौत हो गई और एक अन्य घायल हो गया। इसके बाद वे बीदर के शिवाजी चौक स्थित भारतीय स्टेट बैंक (एसबीआई) के एटीएम में लोड किए जाने वाले 93 लाख रुपये लूटकर फरार हो गए।
अपराध
छत्तीसगढ़: नारायणपुर में आईईडी ब्लास्ट में दो जवान घायल
नारायणपुर, 17 जनवरी। छत्तीसगढ़ में लगातार नक्सली सुरक्षाबलों को निशाना बनाने की फिराक में लगे हुए हैं। पिछले एक महीने में कई नक्सली हमले की घटनाएं सामने आई हैं। अब बस्तर डिवीजन के नारायणपुर जिले में नक्सलियों ने सुरक्षाबलों को नुकसान पहुंचाने की कोशिश की है।
मीडिया रिपोर्ट के अनुसार, शुक्रवार सुबह बीएसएफ की रोड ओपनिंग पार्टी (आरओपी) गारपा गांव के पास अपने शिविर से सर्च ऑपरेशन पर निकली थी। रोड ओपनिंग पार्टी शिविर और गारपा गांव के बीच थी। जब नक्सलियों ने इम्प्रोवाइज्ड एक्सप्लोसिव डिवाइस (आईईडी) विस्फोट कर दिया। आईईडी की चपेट में आकर दो कोबरा कमांडो घायल हो गए हैं। एक पुलिस अधिकारी ने बताया कि तुरंत दोनों जवानों को अस्पताल पहुंचाया गया, जहां उनका इलाज चल रहा है।
बता दें कि छत्तीसगढ़ के बीजापुर जिले में गुरुवार को सुरक्षाबलों और नक्सलियों के बीच मुठभेड़ में 17 नक्सली मारे गए थे। इस मुठभेड़ के दौरान बड़ी मात्रा में हथियार भी बरामद हुए हैं, जिनमें एसएलआर और अन्य खतरनाक हथियार शामिल हैं।
यह मुठभेड़ बीजापुर के पुजारी कांकेर, मारुरबाका और तेलंगाना सीमा से सटे इलाकों में हुई थी। जानकारी के मुताबिक, गुरुवार सुबह करीब नौ बजे डीआरजी बीजापुर, दंतेवाड़ा, सुकमा की संयुक्त टीम, कोबरा बटालियन और सीआरपीएफ की टीम और नक्सलियों के बीच मुठभेड़ शुरू हुई थी।
सुरक्षाबलों ने माओवादियों के बड़े कैडरों की मौजूदगी की सूचना मिलने के बाद डीआरजी बीजापुर, डीआरजी सुकमा, डीआरजी दंतेवाड़ा, कोबरा 204, 205, 206, 208, 210 और केरिपु 229 बटालियन की संयुक्त टीम के साथ यह ऑपरेशन शुरू किया था।
बीजापुर जिले में गुरुवार को ही नक्सलियों द्वारा लगाए गए एक प्रेशर इम्प्रोवाइज्ड एक्सप्लोसिव डिवाइस (आईईडी) के विस्फोट में सीआरपीएफ की कोबरा इकाई के दो कमांडो घायल हो गए थे।
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