राष्ट्रीय समाचार
मध्य रेलवे की ‘डॉक्टर्स ऑन कॉल’ सेवा: चिकित्सा आपात स्थिति में यात्रियों के लिए जीवन रेखा।

आपातकालीन चिकित्सा सेवाओं को बढ़ाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम उठाते हुए, मध्य रेलवे ने यात्रा के दौरान चिकित्सा संबंधी आपात स्थिति में यात्रियों की स्वास्थ्य संबंधी जरूरतों को पूरा करने के लिए 24/7 चिकित्सा सहायता कार्यक्रम, डॉक्टर्स ऑन कॉल सेवा का संचालन किया है।
करुणा और समर्पण के एक सराहनीय प्रदर्शन में, डॉक्टरों की एक टीम ट्रेन में चिकित्सा की जरूरत वाले यात्रियों की देखभाल करती है।
रेलमदद के बारे में
यात्रा के दौरान चिकित्सा सहायता की आवश्यकता वाले या किसी चिकित्सा आपात स्थिति में यात्री रेलमदद के माध्यम से या ट्रेन कंडक्टर/यात्रा टिकट परीक्षक या ट्रेन प्रबंधक से संपर्क करके अगले स्टेशन पर ट्रेन में डॉक्टरों की सेवाएं ले सकते हैं। रेलमदद से या ट्रेन कंडक्टर/टीटीई/ट्रेन प्रबंधक के माध्यम से अगले स्टेशन के ऑन-ड्यूटी स्टेशन प्रबंधक को एक संदेश भेजा जाता है, जहाँ डॉक्टरों और पैरामेडिक्स की एक मेडिकल टीम उपस्थित होने के लिए तैयार रहती है। चिकित्सा सहायता तुरंत प्रदान की जाती है और किसी भी बड़ी समस्या के मामले में यात्री निकटतम अस्पताल में चिकित्सा सहायता प्राप्त कर सकता है।
कुछ मामलों के बारे में
हाल ही में एक घटना में मडगांव से एलटीटी तक ट्रेन नंबर 22114 कोचुवेली-एलटीटी सुपरफास्ट एक्सप्रेस से यात्रा कर रहे एक यात्री को सीने में दर्द की शिकायत हुई। उसके परिजनों ने रेलमदद के माध्यम से मदद की अपील की। एलटीटी के उप स्टेशन अधीक्षक ने एक मेडिकल टीम के साथ समय पर सहायता प्रदान की और यात्री को महत्वपूर्ण समय पर निकटतम अस्पताल पहुंचाने में मदद की। उक्त यात्री को समय पर चिकित्सा सहायता मिली और उसकी जान बच गई।
एक अन्य मामले में 6.6.2024 को 17412 कोल्हापुर-मुंबई महालक्ष्मी एक्सप्रेस में सवार एक महिला को लोनावाला से ट्रेन के रवाना होने पर प्रसव पीड़ा का अनुभव हुआ। मध्य रेलवे के अधिकारियों ने तुरंत कार्रवाई की, कर्जत में एक टीम तैयार थी, जहां महिला को अस्पताल ले जाया गया, जहां उसने एक स्वस्थ बच्ची को जन्म दिया।
एक अन्य उल्लेखनीय मामले में 3.4.2024 को 12293 एलटीटी-प्रयागराज दुरंतो एक्सप्रेस के टिकट चेकिंग स्टाफ ने एक साथी यात्री की मदद से एक महिला को ट्रेन में ही बच्चे को जन्म देने में सहायता की।
ऐसी कई घटनाएं हैं जहां मध्य रेलवे की टीम ने अपनी त्वरित कार्रवाई से जरूरतमंद यात्रियों को बहुत जरूरी राहत प्रदान की है।
मध्य रेलवे की डॉक्टर-ऑन-कॉल टीमों ने 1 जून 2024 से 31 जुलाई 2024 की अवधि के दौरान कुल 2019 यात्रियों की जांच की और उन्हें चिकित्सा सहायता प्रदान की। इसमें नागपुर डिवीजन में 815 यात्री, भुसावल डिवीजन में 587 यात्री, पुणे डिवीजन में 297 यात्री, सोलापुर डिवीजन में 236 यात्री और मुंबई डिवीजन में 84 यात्री शामिल हैं।
मध्य रेलवे को अपने चिकित्सा विभाग, डॉक्टर्स ऑन कॉल टीम पर उनकी त्वरित प्रतिक्रिया और विशेषज्ञ देखभाल के लिए गर्व है, और सभी कर्मचारी जो चिकित्सा आपात स्थितियों में भाग लेने और कम समय में जान बचाने में मदद करने के लिए अपना सर्वश्रेष्ठ प्रयास करते हैं।
राष्ट्रीय समाचार
दीपावली के बाद दिल्ली में ‘गंभीर’ हुई हवा, कई हिस्सों में एयूआई 400 के पार

नई दिल्ली, 21 अक्टूबर : दीपावली के त्योहार के बाद राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली की हवा एक बार फिर ‘बेहद खराब’ से ‘गंभीर’ श्रेणी में पहुंच गई है। आतिशबाजी और मौसम संबंधी कारकों के कारण दिल्ली के कई इलाकों में वायु गुणवत्ता सूचकांक (एयूआई) 400 के आंकड़े को पार कर गया है, जिससे लोगों के लिए सांस लेना भी मुश्किल हो गया है।
सोमवार की रात दीपावली पर बड़े पैमाने पर पटाखे फोड़े जाने के बाद मंगलवार सुबह 8 बजे वायु गुणवत्ता सूचकांक 400 के आंकड़े को पार कर गया है, जो ‘बेहद खराब’ श्रेणी में आता है।
दिल्ली के लिए सबसे हैरान करने वाली बात यह है कि दीपावली की रात में पूरे एनसीआर का एयर क्वालिटी इंडेक्स बेहद खतरनाक स्तर पर था। रात करीब 11:00 बजे दिल्ली का एयर क्वालिटी इंडेक्स 596 पहुंच गया था। वहीं, मंगलवार सुबह दिल्ली का एयर क्वालिटी इंडेक्स 400 पार पहुंच गया है।
केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड (सीपीसीबी) के आंकड़ों के अनुसार, दीपावली की रात हुई भारी आतिशबाजी के कारण दिल्ली-एनसीआर में प्रदूषण का स्तर खतरनाक हो गया है।
दिल्ली एनसीआर में मंगलवार को प्रदूषण में कोई राहत नहीं मिलेगी। यहां का तापमान 31 और न्यूनतम तापमान 22 डिग्री सेल्सियस के करीब रहने की संभावना जताई जा रही है। यही नहीं, मंगलवार सुबह-सुबह दिल्ली एनसीआर में हल्का कोहरा भी नजर आ रहा है, लेकिन दोपहर बाद मौसम शुष्क हो जाएगा और हल्की धूप निकलने का पूर्वानुमान है।
मौसम विभाग (आईएमडी) और भारतीय उष्णकटिबंधीय मौसम विज्ञान संस्थान के पूर्वानुमानों के अनुसार, अगले दो दिनों में हवा की गुणवत्ता और बिगड़ सकती है। स्थिर हवाएं, तापमान में गिरावट और स्थानीय प्रदूषण इसके मुख्य कारण बताए जा रहे हैं।
स्थिति को देखते हुए, वायु गुणवत्ता प्रबंधन आयोग ने ग्रेडेड रिस्पॉन्स एक्शन प्लान (ग्रैप) के दूसरे चरण को तत्काल प्रभाव से लागू कर दिया है। इसके तहत प्रदूषण नियंत्रण बोर्डों और दिल्ली प्रदूषण नियंत्रण समिति (डीपीसीसी) को सख्त निगरानी और कार्रवाई के निर्देश दिए गए हैं।
आईएमडी ने स्पष्ट किया है कि स्थिति पर करीब से नजर रखी जा रही है और प्रदूषण नियंत्रण के लिए नियमित समीक्षा बैठकें होंगी। पराली जलाना और वाहनों से निकलने वाला धुआं इस प्रदूषण संकट को और गहरा कर रहे हैं, जिससे सर्दियों में स्मॉग की समस्या से निपटने के लिए क्षेत्रीय सहयोग की आवश्यकता और भी बढ़ गई है।
राजनीति
महाराष्ट्र राजनीति: एमवीए नेताओं ने राज्य चुनाव आयोग से मुलाकात की, स्थानीय निकाय चुनावों से पहले मतदाता सूची में विसंगतियों पर चिंता जताई

राज्य चुनाव आयोग (एसईसी) के साथ अपनी दूसरी बैठक के दौरान विपक्ष ने मतदाता सूची में कथित विसंगतियों पर चिंता जताई और मांग की कि आगामी स्थानीय निकाय और नगर निगम चुनावों के लिए इसका इस्तेमाल न किया जाए।
महा विकास अघाड़ी (एमवीए) प्रतिनिधिमंडल, जिसमें शिवसेना (यूबीटी) प्रमुख उद्धव ठाकरे, एनसीपी (एसपी) के राज्य प्रमुख जयंत पाटिल, कांग्रेस के बालासाहेब थोराट, एमएनएस प्रमुख राज ठाकरे, राज्य विधानसभा में कांग्रेस के समूह के नेता विजय वडेट्टीवार और अन्य शामिल थे, ने राज्य चुनाव आयुक्त दिनेश वाघमारे और मुख्य निर्वाचन अधिकारी (सीईओ) एस. चोकलिंगम से मुलाकात की।
मीडिया से बात करते हुए, उद्धव ठाकरे ने कहा कि उन्होंने मतदाता सूची में सुधार की मांग की है और उसके बाद ही चुनाव कराए जाने चाहिए।
उन्होंने कहा, “मतदाता सूची के लिए 31 जुलाई की अंतिम तिथि अस्वीकार्य है। हमारा पहला ध्यान मतदाता सूची में सुधार और फिर वोटों की चोरी रोकना है।”
जयंत पाटिल ने दावा किया कि मतदाता सूचियाँ बेहद ख़तरनाक और त्रुटिपूर्ण हैं और आगामी चुनावों में इनका इस्तेमाल नहीं किया जाना चाहिए। उन्होंने कहा कि कई मामलों में, दिए गए पते या तो ग़लत थे या मतदाता अब वहाँ नहीं रहते।
पाटिल ने कहा, “हमने सीईओ और राज्य चुनाव आयोग को विशिष्ट उदाहरण दिखाए।”
राज ठाकरे ने कहा कि मतदाता सूची में सुधार के लिए चुनाव छह महीने तक स्थगित किये जा सकते हैं।
बालासाहेब थोराट ने आगे कहा, “राज्य चुनाव आयोग ने हमें बताया कि आपत्तिजनक नामों को हटाना उनकी ज़िम्मेदारी नहीं है। अगर यही रुख़ है, तो आगामी स्थानीय निकाय चुनावों के पारदर्शी और ईमानदार होने की उम्मीद कैसे की जा सकती है?”
बैठक के दौरान, नेताओं ने यह भी जानना चाहा कि बिहार की तरह महाराष्ट्र में भी विशेष गहन पुनरीक्षण (एसआईआर) क्यों नहीं किया जा रहा है। उन्होंने यह भी मांग की कि अगर वीवीपैट की अनुमति नहीं है, तो बीएमसी चुनावों में मतपत्रों से मतदान कराया जाए।
इस बीच, विपक्षी पार्टी के नेताओं, राज्य चुनाव आयुक्त और सीईओ के बीच हुई बैठक पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने कहा कि यह बातचीत स्थानीय निकाय चुनावों से पहले झूठी कहानी गढ़ने का प्रयास है और उन्होंने इस पूरी प्रक्रिया को विफल करार दिया।
अपराध
महाराष्ट्र : सपा नेता फहद आजमी पर मारपीट का आरोप, पुलिस ने मामला दर्ज कर जांच शुरू की

FIR
महाराष्ट्र, 15 अक्टूबर: मुंबई के गोवंडी इलाके में बैगनवाड़ी डंपिंग ग्राउंड पर बने एक ओपन जिम के उद्घाटन समारोह में उस समय तनाव पैदा हो गया, जब समाजवादी पार्टी (सपा) के नेता फहद आजमी पर कुछ लोगों ने हमला कर दिया। उस वक्त पार्टी विधायक तथा महाराष्ट्र अध्यक्ष अबू आसिम आजमी भी मौके पर मौजूद थे।
मामला तब शुरू हुआ जब अब्दुल करीम बादशाह खान नामक एक युवक विधायक अबू आजमी के साथ फोटो खिंचवाने गया था। उसी समय वहां पर मौजूद करीम ने आरोप लगाया कि सपा नेता फहद आजमी और उनके साथियों ने उसे धक्का दिया और हमला कर भी किया, जिससे उसे गंभीर चोटें आईं। फिर देखते ही देखते यह घटना दो समूहों के बीच हिंसक झड़प में बदल गई।
इस मामले में मुंबई की शिवाजीनगर पुलिस ने दो अलग-अलग एफआईआर दर्ज की हैं और जांच शुरू कर दी है।
पहली एफआईआर करीम की शिकायत पर दर्ज की गई है, जिसमें समाजवादी पार्टी के नेता फहद आजमी और दो अज्ञात लोगों पर मारपीट करने और जान से मारने की धमकी देने का मामला दर्ज किया गया है।
करीम ने तहरीर में बताया कि 13 अक्टूबर की शाम जब वह अबू आजमी के साथ फोटो खिंचवाने आगे बढ़ा, तो फहद आजमी ने उसे धक्का दिया और कान पर थप्पड़ जड़ा था। इसके बाद फहद के साथ मौजूद दो अज्ञात व्यक्तियों ने भी उसकी पिटाई कर दी।
वहीं, दूसरी एफआईआर सपा कार्यकर्ता की शिकायत पर दर्ज कराई गई है, जिसमें करीम और उसके तीन साथियों पर मारपीट और डकैती का आरोप लगाया गया है। शेख ने बताया कि उद्घाटन समारोह के बाद, बुर्का पहने एक महिला ने विधायक को इलाके में हो रही बदमाशी की शिकायत की थी।
पुलिस ने दोनों मामलों में एफआईआर दर्ज कर जांच शुरू कर दी है। यह घटना विधायक की पुलिस सुरक्षा में चूक को लेकर भी गंभीर चिंताएं पैदा करती है, क्योंकि हिंसा उनके काफिले के ठीक बीच में भड़की थी।
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