राजनीति
पंचायत चुनाव: हार के कारणों पता लगाने में जुटी सपा, सात जुलाई तक मांगी रिपोर्ट

समाजवादी पार्टी (सपा) पंचायत चुनाव में मिली हार के बाद उसकी समीक्षा में जुट गयी है। हार के कारणों का पता लगाने के लिए सपा मुखिया अखिलेश यादव ने वरिष्ठ नेताओं के साथ मंथन किया है। साथ ही सभी वर्तमानम जिलाध्यक्ष, महानगर अध्यक्ष व महासचिवों से सात जुलाई तक रिपोर्ट मांगी है।
इस संदर्भ में समाजवादी पार्टी ने एक पत्र जारी किया है। जिसमें जिला अध्यक्ष, महानगर अध्यक्ष और जिला महासचिवों से कहा गया है कि जिला पंचायत अध्यक्ष चुनाव में किस वजह से उम्मीदवार की हार हुई, इस पर सात जुलाई तक रिपोर्ट अनिवार्य रूप से प्रदेश कार्यालय में जमा करवाएं।
सत्ता का सेमीफाइनल माने जा रहे इस चुनाव में सपा को निराशाजनक सीटें मिली है। इसपर शीर्ष नेतृत्व नाराज है। रिपोर्ट मिलने के बाद दगाबाजी करने वालों पर कार्रवाई होनी की संभावना है। दूसरी तरफ संगठन को नए सिरे से सक्रिय करने की भी रणनीति बनाई गयी है। सूत्र बताते हैं कि पार्टी ने आधे ज्यादा सीटों पर अपनी जीत तय मान रखी थी। लेकिन जिला स्तर से प्रबंधन फेल होने के कारण उन्हें महज पांच सीटों पर ही संतोष करना पड़ा है।
सपा के सूत्र बताते हैं कि 2022 के चुनाव से पहले संगठन की ओरवरहालिंग किए जाने की संभावना बन रही है। सक्रिय और टिकाऊ लोगों को जिम्मेदारी देने की योजना पर भी काम हो रहा है।
राजनीति
वायनाड भूस्खलन: प्रभावितों की मदद के लिए प्रियंका गांधी ने केंद्र सरकार से मांगे 2,221 करोड़ रुपए

नई दिल्ली, 4 अक्टूबर : कांग्रेस नेता और सांसद प्रियंका गांधी वाड्रा ने केरल के वायनाड जिले में 2024 में आई भूस्खलन को लेकर केंद्र सरकार से राहत राशि कम दिए जाने पर विरोध जताया है। उन्होंने इस मुद्दे को राजनीति से ऊपर उठकर मानवता के दृष्टिकोण से देखने की बात कही है।
प्रियंका गांधी ने अपने आधिकारिक ‘एक्स’ पोस्ट में लिखा कि वायनाड के लोगों ने भूस्खलन में अपने घर, जीवनयापन के साधन और अपने प्रियजनों को खो दिया है। इस त्रासदी से उबरने के लिए केरल सरकार ने 2,221 करोड़ रुपए की मदद मांगी थी ताकि प्रभावित लोगों की जिंदगी फिर से शुरू हो सके, लेकिन केंद्र सरकार ने मात्र 260 करोड़ रुपए की राशि मंजूर की, जो कि मांग की गई राशि का बहुत छोटा हिस्सा है।
उन्होंने कहा कि वायनाड के लोग प्रधानमंत्री के यहां आने के बाद मदद की उम्मीद कर रहे थे, लेकिन उन्हें निराशा ही हाथ लगी। प्रियंका गांधी ने यह भी स्पष्ट किया कि राहत और पुनर्वास का काम राजनीति से ऊपर होना चाहिए। मानव पीड़ा को राजनीतिक अवसर के रूप में नहीं देखा जाना चाहिए।
प्रियंका ने आगे कहा कि वायनाड के लोग न्याय, समर्थन और सम्मान के हकदार हैं। ऐसे समय में जब वे अपने जीवन को दोबारा संवारने की कोशिश कर रहे हैं, उन्हें पूरा सहयोग मिलना चाहिए न कि उपेक्षा।
केरल के वायनाड में आए भूस्खलन ने हजारों लोगों की जिंदगी को पूरी तरह से बदलकर रख दिया था। घर तबाह हो गए थे, खेती-बाड़ी प्रभावित हुई थी और कई लोगों की मौत हो गई थी। इस आपदा ने स्थानीय जनता की हालत बेहद दयनीय कर दी थी।
कांग्रेस का कहना है कि केंद्र सरकार की ओर से मंजूर की गई 260 करोड़ रुपए की राशि वायनाड के लिए पर्याप्त नहीं है। प्रियंका गांधी ने इस मामले को लेकर केंद्र सरकार से पुनः विचार करने और उचित राहत राशि मंजूर करने की मांग की है।
उन्होंने कहा कि इस तरह के संकट के समय में मानवता की जीत होनी चाहिए न कि राजनीति की। प्रियंका गांधी ने अपने ‘एक्स’ पोस्ट के अंत में लिखा, “राहत और पुनर्वास को राजनीति से ऊपर उठना होगा। मानवीय पीड़ा को राजनीतिक अवसर नहीं माना जा सकता।”
राजनीति
समाजवादी पार्टी का प्रतिनिधिमंडल बरेली जाने पर अड़ा, पुलिस ने लगाया पहरा

लखनऊ, 4 अक्टूबर : बरेली हंगामे के लगभग एक हफ्ते बाद शनिवार को हाई वोल्टेज राजनीतिक ड्रामा देखा गया। समाजवादी पार्टी का प्रतिनिधिमंडल बरेली में पुलिस की लाठियां खाने वाले लोगों से मिलने के लिए अड़ा रहा, लेकिन जगह-जगह पहरा लगा रही पुलिस ने उन्हें रोक दिया।
उत्तर प्रदेश विधानसभा में नेता विपक्ष माता प्रसाद पांडे के लखनऊ स्थित आवास के बाहर भारी पुलिस तैनाती की गई। सपा सांसद जियाउर्रहमान बर्क के घर के बाहर भी पुलिस बल तैनात है।
दरअसल, समाजवादी पार्टी के 14 सदस्यीय प्रतिनिधिमंडल को शनिवार को बरेली जाना था, जिसकी अगुवाई खुद माता प्रसाद पांडे को करनी थी। सपा ने तय किया कि यह प्रतिनिधिमंडल बरेली में उन लोगों और परिवारों से मुलाकात करेगा, जिनके खिलाफ प्रदर्शन के दौरान एक्शन हुआ। पार्टी नेताओं का कहना है कि सपा का यह प्रतिनिधिमंडल बरेली में हाल के घटनाक्रमों, विशेष रूप से सामाजिक और कानून-व्यवस्था से जुड़े मुद्दों के बारे में समझना चाह रहा था।
माता प्रसाद पांडे ने कहा, “हम शांतिपूर्ण तरीके से बरेली जाकर जनता की आवाज उठाना चाहते हैं। यह हमारा लोकतांत्रिक अधिकार है।” उन्होंने प्रशासन के रुख को अलोकतांत्रिक बताया और कहा कि जनप्रतिनिधियों को रोकना संविधान के खिलाफ है।
उन्होंने यह भी कहा कि वहां कोई सांप्रदायिक दंगा नहीं हुआ। वहां के लोग शांतिपूर्ण ढंग से अपनी बात कहने जा रहे थे, लेकिन लोगों पर मुकदमे लिखे जा रहे हैं और उन्हें जेलों में डाला जा रहा है। वहां के लोग प्रशासन से भयभीत हैं।
समाजवादी पार्टी के नेताओं ने चेतावनी दी है कि अगर उसके नेताओं को बरेली जाने से रोका गया, तो वे धरना-प्रदर्शन पर बैठेंगे।
इस बीच, पुलिस और प्रशासन ने बरेली के प्रवेश मार्गों पर कड़ी निगरानी शुरू कर दी है। अधिकारियों की मानें तो अभी बरेली जाने की इजाजत किसी को नहीं दी जाएगी। पुलिस का कहना है कि सुरक्षा और कानून-व्यवस्था को ध्यान में रखते हुए यह कदम उठाया गया है।
वहीं, बरेली प्रशासन ने कड़ा रुख अपनाते हुए कहा है कि मौजूदा परिस्थितियों में किसी भी राजनैतिक गतिविधि की अनुमति नहीं दी जा सकती है। बरेली प्रशासन ने पहले ही स्पष्ट कर दिया है कि किसी भी राजनैतिक व्यक्ति को जिले में प्रवेश की अनुमति नहीं है।
एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि हमने शांति व्यवस्था को बरकार रखने के लिए सभी राजनैतिक दलों को यहां आने से मना किया है, जिससे यहां की कानून व्यवस्था ठीक रहे और शांति रहे।
गौरतलब है कि बरेली में 26 सितंबर को जुमे की नमाज के बाद ‘आई लव मोहम्मद’ पोस्टर विवाद को लेकर मुस्लिम समुदाय के लोगों ने विरोध प्रदर्शन किया था। इत्तेहाद-ए-मिल्लत काउंसिल के प्रमुख मौलाना तौकीर रजा के ऐलान के बाद यह प्रदर्शन हुआ था, जिसे पुलिस ने अनुमति नहीं दी थी।
बाद में भीड़ के बेकाबू होने के कारण पुलिस को लाठीचार्ज करना पड़ा। इस मामले में अब तक कई लोग गिरफ्तार किए जा चुके हैं।
राजनीति
पीएम मोदी ने श्यामजी कृष्ण वर्मा को दी श्रद्धांजलि, कहा-उनकी वीरता विकसित भारत के निर्माण के लिए प्रेरणाशक्ति

नई दिल्ली, 4 अक्टूबर : प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शनिवार को स्वतंत्रता सेनानी श्यामजी कृष्ण वर्मा को उनकी जयंती पर श्रद्धांजलि अर्पित की। उन्होंने उनकी वीरता को विकसित भारत के निर्माण में एक बड़ी प्रेरणाशक्ति बताया।
पीएम मोदी ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर पोस्ट किया, “सभी देशवासियों की ओर से भारत माता के कर्मठ सपूत श्यामजी कृष्ण वर्मा को उनकी जयंती पर आदरपूर्ण श्रद्धांजलि। आजादी के आंदोलन में उनके साहस, समर्पण और सेवाभाव को सदैव श्रद्धापूर्वक स्मरण किया जाएगा। उनकी वीरता और निर्भीकता की गाथा विकसित भारत के निर्माण के लिए भी एक बड़ी प्रेरणाशक्ति है।”
भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर पोस्ट किया, “भारत मां के वीर सपूत, महान देशभक्त, क्रांतिकारियों के प्रेरणास्रोत श्यामजी कृष्ण वर्मा की जयंती पर उन्हें नमन करता हूं। स्वाधीनता आंदोलन के समय श्रद्धेय श्याम जी ने इंडियन होमरूल सोसाइटी, इंडिया हाउस और द इंडियन सोशियोलॉजिस्ट पत्रिका की स्थापना कर अंग्रेजों के खिलाफ संघर्ष को गति प्रदान की। भारत को अंग्रेजों की गुलामी से मुक्ति दिलाने में अतुलनीय योगदान के लिए यह कृतज्ञ राष्ट्र आपका सदैव ऋणी रहेगा।”
केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह ने एक्स पोस्ट में लिखा कि श्यामजी कृष्ण वर्मा ने इंग्लैंड में ‘इंडिया हाउस’ की स्थापना से विदेश में रह रहे भारतीयों को आजादी के आंदोलन के लिए प्रेरित किया। वीर सावरकर, मदनलाल ढींगरा जैसे स्वतंत्रता सेनानियों को सहयोग प्रदान करने वाले प्रखर राष्ट्रवादी श्यामजी कृष्ण वर्मा को उनकी जयंती पर नमन।
रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने एक्स पर पोस्ट करते हुए लिखा कि महान स्वतंत्रता सेनानी एवं राष्ट्रवादी विचारक श्यामजी कृष्ण वर्मा को उनकी जयंती पर स्मरण एवं श्रद्धांजलि। पूर्ण स्वतंत्रता के उनके स्वप्न और लंदन में ‘इंडिया हाउस’ की स्थापना ने असंख्य क्रांतिकारियों में साहस और देशभक्ति का संचार किया। उनका जीवन और विचार सदैव हमारे राष्ट्र की शक्ति और आत्मनिर्भरता की यात्रा के लिए प्रेरणा स्रोत बने रहेंगे।
केंद्रीय मंत्री शिवराज सिंह चौहान ने एक्स पोस्ट में लिखा कि मां भारती की परतंत्रता की बेड़ियों को तोड़ने के लिए अपना सम्पूर्ण जीवन होम कर देने वाले महान राष्ट्रभक्त एवं स्वतंत्रता सेनानी श्यामजी कृष्ण वर्मा की जयंती पर कोटि-कोटि नमन करता हूं। आपके प्रेरणादायी और प्रखर विचार सदैव हम सबको राष्ट्र सेवा एवं समाज के उत्थान के लिए प्रेरित करते रहेंगे।
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