खेल
‘रोहित की चोट के बारे में शास्त्री को पता न हो, ऐसा संभव नहीं’

भारतीय क्रिकेट टीम के पूर्व सलामी बल्लेबाज वीरेंद्र सहवाग ने कहा है कि ऐसा हो ही नहीं सकता है कि टीम के मुख्य कोच रवि शास्त्री सलामी बल्लेबाज रोहित शर्मा की चोट से अवगत न हो। रोहित को चोट का हवाला देकर आस्ट्रेलिया दौरे के लिए भारतीय टीम में नहीं चुना गया था, लेकिन मुंबई इंडियंस के कप्तान मंगलवार को सनराइजर्स हैदराबाद के खिलाफ लीग चरण के अपने आखिरी मैच में मैदान पर उतरे, जिसके बाद उनके चोट को लेकर सवाल खड़े होने लगे हैं।
शास्त्री ने पिछले सप्ताह एक न्यूज चैनल से कहा था कि वो चयन समीति का हिस्सा नहीं थे, इसलिए रोहित को आस्ट्रेलिया दौरे के लिए भारतीय टीम में शामिल करना या न करना उनका फैसला नहीं था।
शास्त्री ने साथ ही कहा था कि उन्हें रोहित की मेडिकल रिपोर्ट के बारे में पता था, जिसमें कहा गया था कि वह फिर से चोटिल हो सकते हैं और इसलिए उन्हें सलाह दी गई थी कि फिलहाल वापसी न करे।
सहवाग ने क्रिकब्ज से कहा, “मुझे नहीं लगता है कि ऐसा संभव हो सकता है कि रवि शास्त्री को रोहित की चोट के बारे में कोई जानकारी न हो। वह चयन समिति का हिस्सा नहीं होते, लेकिन चयनकर्ता एक या दो दिन पहले ही उनकी राय जरूर लेते होंगे कि इस बारे में वो क्या सोचते हैं।”
उन्होंने कहा, “मैं रवि शास्त्री के इस बयान से सहमत नहीं हूं कि वह चयन समिति का हिस्सा नहीं हैं। यहां तक कि अगर वह आधिकारिक रूप से नहीं है तो भी चयनकर्ता कोच और कप्तान से गैर आधिकारिक रूप से यह पूछते हैं कि आस्ट्रेलिया दौरे के लिए टीम में किसे होना चाहिए।”
हैदराबाद के खिलाफ मैच के दौरान जब कमेंटेटर मार्क निकोलस ने रोहित से पूछा था कि क्या उनकी हैमस्ट्रिंग (घुटना) चोट पूरी तरह से ठीक है, तो रोहित ने जवाब दिया था, “हां पूरी तरह से ठीक है।”
सहवाग ने आगे कहा कि रोहित को टीम में चुना जाना चाहिए था और अगर वह फिट नहीं हो पाते तो आगे जाकर उनकी जगह किसी और को टीम में चुना जा सकता था।
पूर्व सलामी बल्लेबाज ने कहा, “मैं यह देखकर हैरान हूं कि जो खिलाड़ी अपनी फ्रेंचाइजी के लिए खेलने को तैयार है उसका चयन अपने देश की टीम में खेलने के लिए नहीं हुआ। ये बीसीसीआई की ओर से कुप्रबंधन है। उनको पूरी जानकारी लेनी चाहिए थी कि अगर वो अपनी आईपीएल टीम के लिए खेल सकते हैं तो उन्हें भारतीय टीम में भी रख सकते थे।”
उन्होंने कहा, “अगर वह चोटिल होते तो उनकी जगह किसी और को टीम में शामिल किया जा सकता था। लेकिन उन्हें भारतीय टीम में नहीं चुना गया, यह मुझे समझ नहीं आता। यह अजीब है। अब, आप क्या करेंगे? वह पिछले मैच में हैदराबाद के खिलाफ खेले थे। वह प्लेऑफ में खेलेंगे। वह कह रहा है मैं फिट हूं। फिर भी आपने उन्हें क्यों नहीं चुना।”
बीसीसीसीआई ने पिछले सोमवार को ही आस्ट्रेलिया दौरे के लिए भारतीय टीम का एलान किया था, जिसमें रोहित को किसी भी प्रारुप के लिए टीम में नहीं चुना गया था।
बीसीसीआई ने कहा था, “बीसीसीआई की मेडिकल टीम रोहित और इशांत शर्मा की चोट पर नजर रखेगी।”
हालांकि बीसीसीआई के उस बयान के कुछ देर बाद ही मुंबई इंडियंस ने ट्विटर पर एक वीडियो और फोटो पोस्ट किया था, जिसमें रोहित नेट में अभ्यास करते हुए दिखाई दे रहे थे।
अंतरराष्ट्रीय
पाकिस्तानी सेना फिर बेनकाब, बोल रही आतंकी हाफिज सईद की ही जुबान, सिंधु जल समझौते पर दिया विवादित बयान

इस्लामाबाद, 23 मई। पाकिस्तानी सेना ने एक बार फिर जाहिर कर दिया है कि वो आतंकियों की बोली बोलती है। सैन्य प्रवक्ता लेफ्टिनेंट जनरल अहमद शरीफ चौधरी ने लश्कर ए तैयबा (एलईटी) के आतंकी हाफिज सईद की ही तरह सिंधु जल समझौते को लेकर भारत के खिलाफ जहर उगला है।
चौधरी ने एक सार्वजनिक सभा में सिंधु जल संधि स्थगित करने के फैसले पर चेतावनी भरे अंदाज में कहा कि “यदि आप हमारा पानी रोकेंगे, तो हम आपकी सांसें रोक देंगे।” ये अंदाज और बोल ठीक वैसे ही हैं जैसे हाफिज सईद ने हाल ही में उगले थे।
शरीफ चौधरी सिंधु जल संधि को तब तक स्थगित रखने के भारत के फैसले पर बोल रहे थे। दरअसल, भारत पहले ही कह चुका है कि जब तक इस्लामाबाद आतंकवाद को समाप्त नहीं कर देता और अपनी धरती से उत्पन्न होने वाले आतंकवादी समूहों को सहायता, वित्त पोषण और समर्थन बंद नहीं कर देता, तब तक सिंधु जल संधि स्थगित ही रहेगी।
चौधरी ने कथित तौर पर पाकिस्तान के एक विश्वविद्यालय में भाषण के दौरान यह टिप्पणी की। उनका बयान लश्कर-ए-तैयबा के संस्थापक हाफिज सईद द्वारा इस्तेमाल की गई बयानबाजी से हूबहू मेल खाता है। सईद 2008 के मुंबई आतंकवादी हमलों का मास्टरमाइंड है। वह भारत और अमेरिका के खिलाफ अपने भड़काऊ भाषणों के लिए जाना जाता है।
सोशल मीडिया पर वायरल हो रहे एक वीडियो में हाफिज सईद को यही शब्द कहते हुए सुना जा सकता है। ये बयान ऐसे समय में आए हैं जब भारत ने 23 अप्रैल को सिंधु जल संधि के कुछ हिस्सों को निलंबित कर दिया था। यह संधि पहलगाम में हुए आतंकी हमले के एक दिन बाद की है जिसमें 26 लोगों की निर्मम हत्या कर दी गई थी।
1960 में हस्ताक्षरित और विश्व बैंक द्वारा मध्यस्थता की गई यह संधि सिंधु नदी और उसकी सहायक नदियों के जल के बंटवारे को दोनों देशों के बीच नियंत्रित करती है।
इस बीच, नई दिल्ली ने बार-बार कहा है कि “खून और पानी एक साथ नहीं बह सकते; बातचीत और आतंक एक साथ नहीं चल सकते,” जो सीमा पार आतंकवाद के लिए पाकिस्तान के कथित समर्थन पर सख्त रुख का संकेत देता है।
निलंबन इस्लामाबाद के खिलाफ उठाए गए जवाबी उपायों का एक हिस्सा था, जिसमें 7 मई को “ऑपरेशन सिंदूर” भी शामिल था, जिसमें पाकिस्तान और पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर में नौ आतंकी ठिकानों को निशाना बनाया गया था।
भारत के विदेश मंत्रालय ने गुरुवार को घोषणा की कि पाकिस्तान के साथ भविष्य की कोई भी बातचीत केवल जम्मू और कश्मीर में अवैध रूप से कब्जे वाले भारतीय क्षेत्र को खाली करने पर केंद्रित होगी।
विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रणधीर जायसवाल ने दृढ़ता से कहा कि “आतंकवाद और बातचीत एक साथ नहीं हो सकते,” उन्होंने इस बात पर प्रकाश डाला कि भारत केवल वांछित आतंकवादियों के प्रत्यर्पण पर चर्चा को तैयार है, जिन्हें पहले से ही सूचीबद्ध किया गया है और इस्लामाबाद के साथ साझा किया गया है।
कश्मीर मुद्दे पर भारत के रुख को स्पष्ट करते हुए, जायसवाल ने रेखांकित किया, “कोई भी द्विपक्षीय चर्चा केवल पाकिस्तान द्वारा अवैध रूप से कब्जाए गए भारतीय क्षेत्र को खाली करने पर होगी।”
निलंबित सिंधु जल संधि (आईडब्ल्यूटी) पर जायसवाल ने पुष्टि की कि जब तक पाकिस्तान आतंकवाद का समर्थन बंद करने के लिए विश्वसनीय और अपरिवर्तनीय कदम नहीं उठाता, तब तक यह समझौता स्थगित रहेगा।
उन्होंने प्रधानमंत्री मोदी के बयान को दोहराया: “पानी और खून एक साथ नहीं बह सकते,” जो ऐतिहासिक जल-समझौते पर भारत की स्थिति के सख्त होने का संकेत देता है।
राष्ट्रीय
उज्जैन : विरोध कर रहे लोगों को समझाने के बाद अतिमक्रमण के खिलाफ कार्रवाई शुरू

उज्जैन, 23 मई। मध्य प्रदेश के उज्जैन के महाकालेश्वर मंदिर के पास स्थित बेगमबाग इलाके में अतिक्रमण ध्वस्त करने पहुंची उज्जैन विकास प्राधिकरण और पुलिस की टीम ने विरोध प्रदर्शन कर रहे लोगों को समझाया। इसके बाद स्थानीय लोगों और उज्जैन विकास प्राधिकरण की टीम ने अतिक्रमण के खिलाफ समन्वय के साथ कार्रवाई करने का फैसला किया। टीम ने ध्वस्तीकरण के खिलाफ चिन्हित किए गए कुल 28 प्रॉपर्टी में से 3 को ध्वस्त करने का फैसला आज (23 मई) किया है।
इससे पहले जब उज्जैन विकास प्राधिकरण की टीम पुलिस के साथ बेगमबाग इलाके में अतिक्रमण के खिलाफ कार्रवाई करने पहुंची थी, तो स्थानीय लोगों ने इसका विरोध किया था।
वहीं इस बारे में जानकारी देते हुए उज्जैन विकास प्राधिकरण के सीईओ संदीप सोनी ने मिडिया को बताया कि यह पूरा क्षेत्र लोगों को रहने के लिए लीज पर साल 1998 में दिया गया था। लेकिन, लोगों ने इसका बाद में व्यापारिक गतिविधियों के लिए इस्तेमाल करना शुरू कर दिया। इसके अलावा, कई लोगों ने इसे रिन्यू भी नहीं कराया, जो पूरी तरह से लीज का उल्लंघन है।
उन्होंने कहा कि इस बारे में कई बार उज्जैन विकास प्राधिकरण की तरफ से यहां के लोगों को नोटिस भी दिया गया कि वे इसका रिन्यू करा लें, लेकिन लोगों ने इसे अनदेखा किया। इसके बाद अब इस लीज को खत्म कर दिया गया है। अब लीज खत्म होने के बाद संपत्ति दोबारा से प्राधिकरण की हो जाती है। ऐसी स्थिति में अब यह संपत्ति प्राधिकरण की मानी जाएगी, जिस पर अगर कोई दूसरा व्यक्ति कोई काम करेगा, तो उसे अतिक्रमण ही माना जाएगा।
उन्होंने आगे कहा कि यहां पर व्यापारिक गतिविधियां चल रही हैं, जिसे देखते हुए पहले प्राधिकरण की तरफ से सभी सामानों को हटाया जा रहा है। इसके बाद ध्वस्तीकरण की कार्रवाई शुरू की जाएगी।
उन्होंने कहा कि वैसे तो प्राधिकरण की तरफ से 28 संपत्तियों को ध्वस्त करने का फैसला किया गया है, लेकिन अभी महज सिर्फ तीन संपत्तियों को ध्वस्त किया जाएगा, क्योंकि बाकी की प्रॉपर्टी का मामला कोर्ट में विचाराधीन है। जैसे ही कोर्ट की तरफ से इसे लेकर फैसला आ जाएगा, हम कार्रवाई शुरू कर देंगे।
एसीपी नितेश भार्गव ने बताया कि यहां उज्जैन विकास प्राधिकरण की टीम अतिक्रमण के खिलाफ कार्रवाई करने पहुंची। पुलिस की टीम भी आई है, ताकि किसी भी प्रकार की अप्रिय स्थिति पैदा न हो। अभी मौके पर 150 पुलिस के जवान मौजूद हैं। हालांकि, पहले कुछ लोगों ने अतिक्रमण के खिलाफ कार्रवाई का विरोध किया था। लेकिन, बाद में इन लोगों को समझाया गया।
उन्होंने कहा कि सुबह पांच बजे से उज्जैन विकास प्राधिकरण और पुलिस की टीम यहां पर मौजूद है। लोगों को समझाया जा रहा है। कई लोग मान भी गए हैं, जिसके बाद वे स्वेच्छा से अपना घर खाली करके टीम का सहयोग कर रहे हैं।
खेल
आईपीएल 2025 : मिशेल मार्श की शतकीय पारी की बदौलत एलएसजी ने जीटी को 33 रनों से हराया

अहमदाबाद, 22 मई। आईपीएल 2025 का 64वां मुकाबला गुजरात टाइटंस (जीटी) और लखनऊ सुपर जायंट्स (एलएसजी) के बीच अहमदाबाद के नरेंद्र मोदी स्टेडियम में खेला गया। मिशेल मार्श की ताबड़तोड़ 117 रनों की शतकीय पारी की बदौलत एलएसजी ने इस मुकाबले में 33 रनों से जीत दर्ज की।
236 रनों के लक्ष्य का पीछा करने उतरी जीटी की तरफ से बल्लेबाजी करने उतरे साई सुदर्शन (21) और कप्तान शुभमन गिल (35) बड़ा स्कोर नहीं बना सके। हालांकि, बड़े लक्ष्य का पीछा करने उतरी टीम ने सधी शुरुआत की।
तीसरे नंबर पर विकेटकीपर बल्लेबाज जोस बटलर (33) और रदरफोर्ड (38) ने भी तेजी से रन जुटाए। पांचवें नंबर पर आए शाहरुख खान ने 29 गेंदों पर तेजी से 57 रन बनाए और टीम को लक्ष्य के नजदीक ले जाने की कोशिश की। हालांकि, इसके बाद कोई भी बल्लेबाज कुछ खास नहीं कर सका और पूरी टीम निर्धारित 20 ओवर में 9 विकेट के नुकसान पर 202 रन ही बना सकी।
लखनऊ की तरफ से विल ओ’रूर्के ने सर्वाधिक तीन विकेट चटकाए। उनके अलावा आवेश खान और आयुष बडोनी को दो-दो सफलता मिली, जबकि आकाश सिंह और शाहबाज अहमद ने एक-एक विकेट चटकाए।
इससे पहले टॉस हारकर बल्लेबाजी करने उतरी एलएसजी ने बेहतरीन शुरुआत की। सलामी बल्लेबाज मिशेल मार्श ने 64 गेंदों पर ताबड़तोड़ 117 रनों की शतकीय पारी खेली। उन्होंने इस दौरान 10 चौके और 8 गगनचुंबी छक्के जड़े।
वहीं, एडम मार्क्रम (36) और तीसरे नंबर पर बैटिंग करने आए निकोलस पूरन (56) ने नाबाद अर्धशतकीय पारी खेली। अंत में कप्तान ऋषभ पंत नाबाद (16) रहे। इस तरह पूरी टीम ने निर्धारित 20 ओवर में 2 विकेट के नुकसान पर 235 रन बनाए।
वहीं, जीटी की तरफ से अरशद खान और साईं किशोर को एक-एक सफलता मिली, जबकि राशिद खान सबसे महंगे साबित हुए। उन्होंने दो ओवर में 26 रन लुटाए।
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