राजनीति
राष्ट्रपति मुर्मू ने दी सिविल सर्विस डे की बधाई, लोक सेवकों के समर्पण और कर्तव्य निष्ठा को सराहा

नई दिल्ली, 21 अप्रैल। राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने सोमवार को सिविल सर्विस डे की बधाई दी है। उन्होंने सिविल सेवकों को उनके योगदान के लिए सराहा। उन्होंने कहा कि सिविल सेवकों की भूमिका, नीति निर्माण और कार्यान्वयन ने नागरिकों की भलाई और देश के विकास को प्रभावित किया है।
राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने एक्स पर लिखा, “सिविल सेवा दिवस पर सभी सिविल सेवकों को हार्दिक शुभकामनाएं। सार्वजनिक सेवा में आपकी भूमिका, नीति निर्माण और कार्यान्वयन में आपके योगदान ने नागरिकों के जीवन और देश के विकास को प्रभावित किया है। आशा है आप देश को उसके महत्वाकांक्षी लक्ष्यों को साकार करने और सुशासन में नए मानदंड स्थापित करने में सराहनीय भूमिका निभाएंगे।”
रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने सिविल सर्विस डे की बधाई देते हुए एक्स पर लिखा, “सिविल सेवा दिवस पर सभी सिविल सेवकों और उनके परिवारों को हार्दिक बधाई और शुभकामनाएं। वे भारत की प्रगति को आगे बढ़ाने और नागरिक कल्याण सुनिश्चित करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभा रहे हैं। यह दिन उन्हें नए जोश और उत्कृष्टता के साथ राष्ट्र की सेवा जारी रखने के लिए प्रेरित करे।”
इससे पहले लोकसभा स्पीकर ओम बिरला और उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ समेत कई नेताओं ने सिविल सर्विस डे की बधाई दी।
लोकसभा स्पीकर ओम बिरला ने एक्स अकाउंट पर लिखा, “सिविल सर्विस डे पर देश के सभी सिविल सेवा अधिकारियों को हार्दिक शुभकामनाएं। देश के विकास और व्यवस्था के सुचारु संचालन में सिविल सेवकों की भूमिका महत्वपूर्ण रही है। सिविल सेवा अधिकारी शासन और जनता के बीच सेतु की तरह काम करते हैं। संसद और विधान सभाओं में विधायिका जो कानून बनाती हैं, उन्हें जमीन पर उतारने और पालन करवाने में सिविल सेवक महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं।”
उन्होंने आगे लिखा, “हर वर्ष भारतीय सिविल सेवा के प्रशिक्षु अधिकारी भारत की संसद में स्टडी विजिट के लिए आते हैं। संसदीय कार्यप्रणाली पर उन्हें दक्ष बनाने के लिए लोकसभा का शोध एवं प्रशिक्षण संस्थान प्राइड ओरिएन्टेशन कार्यक्रम का आयोजन करता है। इस दौरान प्रशिक्षु अधिकारियों से मिलकर, उनसे संवाद कर सुखद अनुभव होता है। देश के लिए युवा अधिकारियों के प्रगतिशील दृष्टिकोण को जानकर खुशी होती है।”
राष्ट्रीय समाचार
बिहार एसआईआर विवाद: सुप्रीम कोर्ट ने याचिकाओं पर सुनवाई 12 और 13 अगस्त के लिए सूचीबद्ध की

नई दिल्ली, 29 जुलाई। बिहार में चल रहे विशेष गहन पुनरीक्षण (एसआईआर) को लेकर सुप्रीम कोर्ट ने मंगलवार को अहम टिप्पणी की। चुनाव आयोग द्वारा तैयार की जा रही मतदाता सूची से 65 लाख मतदाताओं के बाहर हो जाने की आशंका पर अदालत ने कहा कि यदि ‘सामूहिक रूप से बाहर करने’ की कोई स्थिति आती है, तो सुप्रीम कोर्ट हस्तक्षेप करेगा।
न्यायमूर्ति सूर्यकांत और न्यायमूर्ति जॉयमाल्या बागची की पीठ ने बिहार विशेष गहन पुनरीक्षण (एसआईआर) को चुनौती देने वाली याचिकाओं पर सुनवाई 12 और 13 अगस्त के लिए सूचीबद्ध की है।
सुप्रीम कोर्ट ने याचिकाकर्ताओं की इस आशंका को दूर करने की कोशिश की कि चुनाव आयोग की ओर से तैयार की जा रही मतदाता सूची से बड़ी संख्या में लोगों को बाहर किया जा रहा है।
मंगलवार को सुनवाई के दौरान एसोसिएशन फॉर डेमोक्रेटिक रिफॉर्म्स की ओर से अधिवक्ता प्रशांत भूषण पेश हुए। उन्होंने कहा कि जिन 65 लाख लोगों ने फॉर्म जमा नहीं किया, उन्हें बाहर कर दिया गया है। चुनाव आयोग का दावा है कि वे या तो मर चुके हैं या स्थायी रूप से दूसरी जगह चले गए हैं। प्रशांत भूषण ने पीठ को बताया कि इन लोगों को सूची में शामिल होने के लिए नए सिरे से आवेदन करना होगा।
सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि अगर बड़े पैमाने पर लोगों को बाहर किया गया है, तो अदालत इस पर गौर करेगी ऐसे मामलों को अदालत के संज्ञान में लाया जाना चाहिए। जस्टिस सूर्यकांत ने टिप्पणी करते हुए कहा, “हम बात सुनेंगे। चुनाव आयोग एक संवैधानिक संस्था है, और उससे अपेक्षा की जाती है कि वह कानून के अनुसार कार्य करे।”
वरिष्ठ अधिवक्ता राकेश द्विवेदी चुनाव आयोग की ओर से पेश हुए सुप्रीम कोर्ट में पेश हुए। अधिवक्ता राकेश द्विवेदी ने अदालत को बताया कि अभी तक सिर्फ ड्राफ्ट लिस्ट प्रकाशित हुई है। लोग आपत्तियां दर्ज कराने के लिए स्वतंत्र हैं। अंतिम सूची 15 सितंबर के आसपास आने की उम्मीद है।
राजनीति
कांग्रेस पार्टी और कुछ नेता भारत में पाकिस्तान के प्रवक्ता बने बैठे हैं: राम कदम

मुंबई, 29 जुलाई। लोकसभा में ‘ऑपरेशन सिंदूर’ पर चर्चा के दौरान विपक्ष के हंगामे पर भाजपा नेता राम कदम ने कड़ा ऐतराज जताया। उन्होंने कांग्रेस और कुछ विपक्षी नेताओं पर पाकिस्तान के प्रवक्ता जैसे व्यवहार करने का आरोप लगाया।
मंगलवार को मिडिया से बातचीत के दौरान उन्होंने कहा कि विपक्ष का आचरण ऐसा नहीं होना चाहिए जिससे पाकिस्तान में छिपे आतंकवादियों को खुशी मिले। उन्होंने सवाल उठाया कि क्या विपक्ष को भारतीय जवानों पर भरोसा नहीं है; जब पूरी दुनिया ने ऑपरेशन सिंदूर की सफलता को माना है, तो विपक्ष हंगामा क्यों कर रहा है?
कदम ने विपक्ष से आग्रह किया कि राष्ट्रीय हितों से जुड़े मुद्दों पर राजनीति न करें और देश के साथ एकजुटता दिखाएं। उन्होंने कहा कि विपक्ष जिस ऑपरेशन को तमाशा कह रहा है, उस ऑपरेशन ने पाकिस्तान को उसकी हैसियत दिखाई। विपक्ष सवाल उठाने से पहले वीर सैनिकों के बारे में सोचे। केंद्र सरकार की नीतियों की तारीफ करते हुए कहा कि अतीत में हमने एक ऐसा दौर देखा है जब पाकिस्तानी आतंकवादी हमारे देश में घुस आते थे, हमले करते थे और बिना किसी चुनौती के निकल जाते थे। पिछली सरकारों में उन्हें उनकी ही धरती पर हमला करने का साहस नहीं था। आज प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की सरकार में हम दुश्मनों के घर में घुसकर मारते हैं। चाहे बालाकोट हमला हो या उससे पहले हुए दो हमले या फिर हाल ही में हुई पहलगाम की घटना, हर परिस्थिति में हमने उनकी धरती में घुसकर पाकिस्तानी आतंकवादियों को ढेर किया। यह सब केवल प्रधानमंत्री मोदी के सशक्त नेतृत्व में ही संभव हो रहा है।
उन्होंने कहा कि जिस तरह का जवाब विपक्ष को लोकसभा में मिला है, वैसा ही जवाब राज्यसभा में भी मिलेगा।
भाजपा नेता ने कहा कि विपक्ष वास्तविकता से अच्छी तरह वाकिफ है और जानता है कि भारत सरकार ने पाकिस्तानी आतंकवादियों से कितनी सख्ती से निपटा है। लेकिन जो लोग सोते रहना चाहते हैं, उन्हें जगाया नहीं जा सकता, चाहे आप उन्हें कितने भी जवाब दें। विपक्ष द्वारा अनजान बनने का नाटक पूरी तरह से जानबूझकर किया जा रहा है। साहसी फौज के प्रति संदेह पैदा करना ठीक नहीं है। उन्होंने कहा कि कुछ हद तक सवाल उठाने का अधिकार है। सवालों की आड़ में सरकार को घेरना और सैनिकों का अपमान करना ठीक नहीं है। दुर्भाग्य से विपक्ष अपनी सेना की छवि को धूमिल कर रहा है।
एसआईआर पर सुप्रीम कोर्ट की टिप्पणी पर उन्होंने कहा कि बिहार में विपक्ष की करारी हार होने वाली है, इसके लिए वह अभी से भूमिका बना रहे हैं। विपक्ष के सभी सवालों के जवाब चुनाव आयोग ने दिए। झूठ बोलकर भ्रम फैला रहे हैं। राहुल गांधी को पहले भी कोर्ट से फटकार लग चुकी है। झूठ फैलाकर चुनाव नहीं जीते जाते हैं।
‘ऑपरेशन महादेव’ पर भाजपा नेता राम कदम ने कहा कि यह सावन का पवित्र महीना है और हमने अपने वीर जवानों द्वारा चलाए गए इस अभियान को ऑपरेशन महादेव नाम दिया है। इसमें किसी को क्या आपत्ति हो सकती है? महादेव पूरे देशवासियों के ईष्ट हैं। माताओं से सिंदूर छीनने का काम करने वाले आतंकियों का सफाया किया गया। अगर अब भी किसी को आपत्ति है, तो यह बेहद दुर्भाग्यपूर्ण है।
दुर्घटना
देवघर बस हादसे पर मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने जताया शोक, घायलों के इलाज का दिया भरोसा

रांची, 29 जुलाई। झारखंड के देवघर जिले के मोहनपुर प्रखंड में मंगलवार की सुबह हुए भीषण सड़क हादसे को लेकर मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने गहरा दुख जताया है। यह हादसा जमुनिया चौक के पास उस समय हुआ जब कांवड़ियों से भरी बस गैस सिलेंडर लदे ट्रक से टकरा गई।
मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने इस घटना को अत्यंत दुखद बताया और एक्स पोस्ट कर हादसे में जान गंवाने वाले श्रद्धालुओं के प्रति संवेदना व्यक्त की।
उन्होंने कहा, “आज सुबह देवघर के मोहनपुर प्रखंड के जमुनिया चौक के पास बस दुर्घटना में बस सवार श्रद्धालुओं की मृत्यु की अत्यंत दुःखद सूचना मिली है। जिला प्रशासन द्वारा राहत और बचाव कार्य के साथ घायलों को चिकित्सा सुविधा उपलब्ध कराई जा रही है। बाबा बैद्यनाथ दुर्घटना में मरने वाले श्रद्धालुओं की आत्मा को शांति प्रदान कर शोकाकुल परिवारजनों को दुःख की घड़ी सहन करने की शक्ति दे।”
प्रारंभिक जानकारी के अनुसार, बस की सीधी टक्कर एक ट्रक से हुई जो गैस सिलेंडर लेकर जा रहा था। टक्कर इतनी भीषण थी कि बस के परखच्चे उड़ गए। कांवड़ियों से भरी बस और गैस सिलेंडर लदे ट्रक के बीच जोरदार टक्कर में 9 यात्रियों की मौत हो गई।
हादसे में 21 लोग घायल हुए हैं। इनमें से चार की हालत गंभीर बताई जा रही है। ट्रैफिक डीएसपी लक्ष्मण प्रसाद ने हादसे की पुष्टि करते हुए बताया कि मृतकों की संख्या बढ़ सकती है क्योंकि कई घायलों की स्थिति नाजुक बनी हुई है। जिला प्रशासन को सतर्क कर दिया गया है और घायलों को देवघर सदर अस्पताल के अलावा नजदीकी प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों में भर्ती कराया गया है।
प्रत्यक्षदर्शियों के अनुसार, हादसा इतना भयावह था कि बस के परखच्चे उड़ गए। टक्कर के बाद घटनास्थल पर चीख-पुकार मच गई। कई श्रद्धालु बस के अंदर ही फंसे रह गए, जिन्हें निकालने के लिए पुलिस और एनडीआरएफ की टीम को कड़ी मशक्कत करनी पड़ी। सूचना मिलते ही स्थानीय पुलिस, एनडीआरएफ और जिला प्रशासन की टीम मौके पर पहुंच गई और राहत व बचाव कार्य शुरू कर दिया।
बस में लगभग 35 श्रद्धालु सवार थे, जो श्रावणी मेला के दौरान बाबा बैद्यनाथ धाम में जलार्पण करने के उद्देश्य से देवघर आ रहे थे। इसी दौरान जमुनिया के पास सामने से आ रहे गैस सिलेंडर लदे ट्रक से उनकी बस की सीधी टक्कर हो गई। कई श्रद्धालुओं को मामूली चोटें भी आई हैं, जबकि कुछ लोग पूरी तरह सुरक्षित भी बताए जा रहे हैं। मृतकों के शवों को पोस्टमार्टम के लिए भेजा जा रहा है। इस हृदयविदारक हादसे ने पूरे इलाके में शोक की लहर फैला दी है। जिला प्रशासन के आला अधिकारी भी घटना की सूचना पाकर अस्पताल पहुंचे हैं।
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