राष्ट्रीय समाचार
पुंछ हादसे में शहीद हुए जवान का बेलगावी लाया गया पार्थिव शरीर, राजकीय सम्मान के साथ होगा अंतिम संस्कार
बेलगावी, 26 दिसंबर। पुंछ हादसे में शहीद हुए कर्नाटक के शहीद का शव बेलगावी पहुंचा। सांबरा के सैनिक दयानंद थिरकन्नवर (45) का उनके पैतृक गांव में राजकीय सम्मान के साथ अंतिम संस्कार किया जाएगा।
देर रात 2 बजे जब पार्थिव शरीर कश्मीर से बेलगावी एयरपोर्ट लाया गया जहां अधिकारियों ने उन्हें श्रद्धांजलि अर्पित की।
दयानंद के पार्थिव शरीर को उनके गांव के प्राइमरी मराठी स्कूल में दर्शन के लिए रखा जाएगा। इसके बाद दोपहर 1 बजे पूरे राजकीय सम्मान के साथ उनका अंतिम संस्कार किया जाएगा।
दो और शहीद जवानों के पार्थिव शरीर भी लाए गए। ये पार्थिव शरीर अनूप (33) कुंदापुर के कोटेश्वर बिजाड़िया और महेश मारिगोंडा (25) के हैं।
कर्नाटक के मुख्यमंत्री सिद्धारमैया, उप-मुख्यमंत्री डीके शिवकुमार समेत कई गणमान्य व्यक्तियों ने शहीदों को श्रद्धांजलि अर्पित की।
बता दें कि यह हादसा जम्मू-कश्मीर के पुंछ में हुआ था, जहां एक सैन्य वाहन 350 फुट गहरी खाई में गिर गया था।
इस दुर्घटना में कर्नाटक के तीन जवान समेत कुल पांच जवान शहीद हो गए थे।
शुरुआती रिपोर्टों से पता चला है कि इस घटना में कई सैनिक गंभीर रूप से घायल हुए थे।
व्हाइट नाइट कॉर्पस ने सैनिकों के निधन पर संवेदना व्यक्त की थी। उन्होंने अपने एक्स अकाउंट पर एक पोस्ट शेयर करते हुए लिखा था, “पुंछ सेक्टर में ऑपरेशनल ड्यूटी के दौरान हुए एक वाहन दुर्घटना में पांच बहादुर सैनिकों के शहीद होने पर गहरी संवेदना व्यक्त करते हैं। बचाव अभियान जारी है और घायल कर्मियों का इलाज किया जा रहा है।”
राजनीति
मप्र में भाजपा जिलाध्यक्षों के लिए रायशुमारी का दौर जारी
भोपाल, 27 दिसंबर। मध्य प्रदेश में भाजपा के संगठन चुनाव की प्रक्रिया जारी है। बूथ समिति अध्यक्षों और मंडल अध्यक्षों के चुनाव के बाद जिलाध्यक्षों के निर्वाचन पर सबकी नजर है। फिलहाल इसके लिए आम सहमति बनाए जाने की कवायद जारी है। संभावना जताई जा रही है कि अगले तीन से चार दिनों में जिलाध्यक्षों की नियुक्तियां हो जाएंगी।
राज्य में भाजपा के 60 जिलाध्यक्ष बनाए जाना है, इसके लिए प्रभारी अपनी जिम्मेदारी और संगठन द्वारा तय की गई भूमिका के मुताबिक जिला अध्यक्षों के चयन में सक्रिय है। सभी की सहमति बने और सर्वमान्य व्यक्ति को जिलाध्यक्ष की कमान सौंपी जाए, इसके लिए सांसदों से तीन-तीन नाम मांगे गए है। इतना ही नहीं पार्टी के पूर्व विधायक से लेकर पूर्व सांसद, पंचायत प्रतिनिधि और नगरीय निकायों के प्रतिनिधियों से जिलाध्यक्ष के मसले पर विचार विमर्श करने को कहा गया है।
सूत्रों का कहना है कि निर्वाचन के लिए पार्टी की ओर से नियुक्त किए गए प्रभारी अपने अपने जिले में पहुंच चुके हैं और वह संबंधित प्रतिनिधियों से संवाद भी कर रहे हैं। कुल मिलाकर रायशुमारी के बाद पार्टी किसी अंतिम निर्णय पर पहुूंचेगी। लोकसभा और राज्यसभा सांसदों को अपनी पसंद के जिलाध्यक्ष के लिए तीन-तीन नाम देना है और यह नाम 28 दिसंबर तक दिए जा सकेंगे। आपसी सहमति यानी कि रायशुमारी से अगर किसी अंतिम निर्णय पर नहीं पहुंचा जा सकेगा तो जिलाध्यक्ष का फैसला भोपाल में होगा।
ज्ञात हो कि भाजपा 33 प्रतिशत महिलाओं को संगठन में स्थान देने की तैयारी में है। बूथ समितियों में इसका पालन किया गया है। अब पार्टी की कोशिश है कि जिला अध्यक्षों के चयन में भी 33 प्रतिशत महिलाओं की हिस्सेदारी रहे। इसके लिए कई नामों की चर्चा भी है।राज्य में आधी आबादी का नेतृत्व उभारने की दिशा में यह प्रयास हैं। राज्य में महिलाओं की सत्ता और संगठन में हिस्सेदारी बढ़ाने की कोशिशें जारी है। यही कारण है कि राज्य से राज्यसभा में भी तीन महिला सांसद हैं।
दुर्घटना
रेल भवन के सामने खुद को आग लगाने वाले युवक की मौत
नई दिल्ली, 27 दिंसबर। पारिवारिक विवाद के चलते 25 दिसंबर को नई दिल्ली स्थित संसद भवन के पास रेलवे भवन के सामने खुद को आग लगाने वाले बागपत के जितेंद्र की बीती रात मौत हो गई।
घटना के बाद 95 फीसदी तक झुलस चुके जितेंद्र का इलाज नई दिल्ली के राम मनोहर लोहिया अस्पताल में चल रहा था। यहां बीते दो दिन से उसकी हालत में सुधार नहीं हो रहा था। हालत बिगड़ने के बाद बीती रात में जितेंद्र की मौत हो गई।
बता दें कि जीतेंद्र ने 25 दिसंबर को संसद भवन के सामने रेल भवन के पास खुद को आग लगाकर आत्महत्या करने की कोशिश की थी। डॉक्टरों ने बताया कि वह 95 फीसदी तक झुलस गया था।
दिल्ली फायर सर्विस ने बताया था कि उसी दिन दोपहर में बताया गया कि संसद भवन के सामने एक युवक ने आग लगा ली है। इस पर एक गाड़ी युवक को बचाने के लिए मौके पर भेजी गई थी। रेलवे भवन सुरक्षाकर्मियों के साथ अन्य लोगों ने मिलकर कंबल डालकर युवक की आग बुझाई थी, इसके बाद जितेंद्र को राम मनोहर लोहिया अस्पताल में भर्ती कराया गया था।
पुलिस के अनुसार, युवक उत्तर प्रदेश के बागपत का निवासी था। घटनास्थल पर दो पन्नों का अधजला सुसाइड नोट, पेट्रोल, एक जला हुआ बैग और जूता बरामद हुआ था। शुरुआती जांच में पता चला कि पारिवारिक विवादों के कारण जितेंद्र ने आत्महत्या करने की कोशिश की।
जांच में यह भी सामने आया कि जितेंद्र के परिवार का बागपत में एक अन्य परिवार के साथ विवाद चल रहा था, जिसकी वजह से उसके परिवार के कुछ सदस्य जेल में हैं। इन परिस्थितियों से वह बेहद परेशान था।
जितेंद्र शुक्रवार सुबह बागपत से दिल्ली आया और रेलवे भवन के पास एक गार्डन में खुद को आग लगा ली। इसके बाद वो संसद भवन की ओर दौड़ गया था।
राजनीति
सुप्रसिद्ध अर्थशास्त्री डॉ. सिंह का भारत के प्रति योगदान सदैव स्मरणीय रहेगा : आरएसएस
नई दिल्ली, 27 दिसंबर। देश के पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह का गुरुवार को दिल्ली के एम्स में निधन हो गया। उन्होंने 92 साल की उम्र में गुरुवार रात 9:51 बजे अंतिम सांस ली। पूर्व प्रधानमंत्री के निधन पर राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ (आरएसएस) दुख जाहिर किया है।
राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के आधिकारिक एक्स हैंडल पर सरसंघचालक मोहन भागवत और सरकार्यवाह दत्तात्रेय होसबोले की ओर से उनके निधन पर शोक व्यक्त किया गया है।
पोस्ट में कहा गया, “भारत के पूर्व प्रधानमंत्री तथा देश के वरिष्ठ नेता डा. सरदार मनमोहन सिंह के निधन से समूचा देश अतीव दुःख का अनुभव कर रहा है। राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ उनके परिवार तथा असंख्य प्रियजनों को गहरी संवेदना व्यक्त करता है। डॉ. मनमोहन सिंह ने सामान्य पृष्ठभूमि से आकर भी देश के सर्वोच्च पद को सुशोभित किया। सुप्रसिद्ध अर्थशास्त्री डॉ. सिंह का भारत के प्रति योगदान सदैव स्मरणीय रहेगा। हम ईश्वर से प्रार्थना करते हैं कि दिवंगत आत्मा को सद्गति प्रदान करे।”
बता दें कि मनमोहन सिंह साल 2004 से 2014 तक दो बार प्रधानमंत्री रहे थे। उनकी गिनती देश के बड़े अर्थशास्त्रियों में होती थी।
पूर्व पीएम मनमोहन सिंह की निधन की खबर मिलने के बाद एम्स के बाहर भारी संख्या में दिल्ली पुलिस और अर्धसैनिक बल के जवानों की तैनाती की गई है।
मनमोहन सिंह 1998 से 2004 तक विपक्ष के नेता भी रहे। हालांकि, साल 2004 के लोकसभा चुनाव में कांग्रेस पार्टी को मिली जीत के बाद उन्होंने देश के 14वें प्रधानमंत्री के रूप में शपथ ली। उन्होंने यूपीए-1 और 2 में प्रधानमंत्री का पद संभाला था।
उन्होंने पहली बार 22 मई 2004 और दूसरी बार 22 मई 2009 को प्रधानमंत्री के पद की शपथ ली थी।
डॉ. मनमोहन सिंह का जन्म 26 सितंबर 1932 को पश्चिमी पंजाब के गाह में हुआ था, जो अब पाकिस्तान का हिस्सा है। उनके पिता का नाम गुरमुख सिंह और मां का नाम अमृत कौर था।
उन्होंने साल 1958 में गुरशरण कौर से शादी की थी। उनकी तीन बेटियां भी हैं, जिनका नाम उपिंदर सिंह, दमन सिंह और अमृत सिंह हैं।
-
व्यापार5 years ago
आईफोन 12 का उत्पादन जुलाई से शुरू होगा : रिपोर्ट
-
अपराध2 years ago
भगौड़े डॉन दाऊद इब्राहिम के गुर्गो की ये हैं नई तस्वीरें
-
अपराध2 years ago
बिल्डर पे लापरवाही का आरोप, सात दिनों के अंदर बिल्डिंग खाली करने का आदेश, दारुल फैज बिल्डिंग के टेंट आ सकते हैं सड़कों पे
-
न्याय4 months ago
मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे के खिलाफ हाईकोर्ट में मामला दायर
-
अपराध2 years ago
पिता की मौत के सदमे से छोटे बेटे को पड़ा दिल का दौरा
-
अनन्य2 years ago
उत्तराखंड में फायर सीजन शुरू होने से पहले वन विभाग हुआ सतर्क
-
महाराष्ट्र4 years ago
31 जुलाई तक के लिए बढ़ा लॉकडाउन महाराष्ट्र में, जानिए क्या हैं शर्तें
-
राजनीति2 months ago
आज रात से मुंबई टोल-फ्री हो जाएगी! महाराष्ट्र सरकार ने शहर के सभी 5 प्रवेश बिंदुओं पर हल्के मोटर वाहनों के लिए पूरी तरह से टोल माफ़ करने की घोषणा की