अपराध
गुजरात दंगे पूर्व नियोजित नहीं, अधिकारियों की निष्क्रियता आपराधिक साजिश नहीं हो सकती: सुप्रीम कोर्ट

सुप्रीम कोर्ट ने शुक्रवार को कहा कि यह साबित करने के लिए कोई आधार (नो टाइटल ऑफ मैटेरियल) नहीं है कि 2002 के गुजरात दंगे पूर्व नियोजित थे और राज्य के कुछ अधिकारियों की निष्क्रियता इसे अल्पसंख्यक समुदाय के खिलाफ राज्य प्रायोजित अपराध के रूप में घोषित करने का आधार नहीं हो सकती। न्यायमूर्ति ए.एम. खानविलकर और न्यायमूर्ति दिनेश माहेश्वरी और न्यायमूर्ति सी.टी. रविकुमार ने कहा: “यह देखने के लिए पर्याप्त है कि अपीलकर्ता की याचिका का समर्थन करने के लिए सामग्री का कोई शीर्षक नहीं है, बहुत कम मूर्त सामग्री है कि गोधरा की घटना 27 फरवरी, 2002 को राज्य में उच्चतम स्तर पर रची गई आपराधिक साजिश के कारण सामने आई थी और इसके बाद की घटनाएं एक पूर्व नियोजित घटना थी।”
यह नोट किया गया कि राज्य प्रशासन के एक वर्ग के कुछ अधिकारियों की निष्क्रियता या विफलता राज्य सरकार के अधिकारियों द्वारा पूर्व नियोजित आपराधिक साजिश का अनुमान लगाने या इसे अल्पसंख्यक के खिलाफ राज्य प्रायोजित अपराध (हिंसा) के रूप में परिभाषित करने का आधार नहीं हो सकता है।
2002 के दंगों में गुजरात के तत्कालीन मुख्यमंत्री नरेंद्र मोदी और 63 अन्य को एसआईटी की क्लीन चिट को बरकरार रखते हुए, पीठ ने कहा कि कानून-व्यवस्था की स्थिति के राज्य प्रायोजित भंग होने के बारे में विश्वसनीय सबूत होना चाहिए, न कि स्वत:स्फूर्त या अलग-अलग उदाहरणों या विफलता की घटनाओं की ओर से इसे पेश किया जाना चाहिए।
शीर्ष अदालत ने कहा कि मारे गए कांग्रेस नेता एहसान जाफरी की पत्नी जाकिया जाफरी ने सुझाव दिया था कि उच्चतम अधिकारियों द्वारा रची गई पूर्व-नियोजित साजिश के तहत ट्रेन की दो बोगियों में आग लगा दी गई थी। यह केवल कल्पना है, बेतुका और एसआईटी द्वारा एकत्र की गई सामग्री से गोधरा घटना से संबंधित जांच सहित कठोर तथ्यों की अवहेलना है। उस मामले की सुनवाई पूरी हो चुकी है। उक्त घटना के लिए दोषी ठहराए गए आरोपी की संलिप्तता को स्थापित किया गया और उसकी अपील इस अदालत में लंबित है।”
अपराध
दिल्ली पुलिस ने ऑटो लिफ्टर को दबोचा, चोरी की मोटरसाइकिल और स्कूटी बरामद

नई दिल्ली, 14 अप्रैल। दिल्ली पुलिस की एंटी ऑटो थेफ्ट स्क्वाड ने सोमवार को एक शातिर ऑटो लिफ्टर को गिरफ्तार किया। पकड़े गए आरोपी का नाम शिवा है, जो दिल्ली के निजामपुर इलाके का रहने वाला है। पुलिस ने इसके पास से एक चोरी की मोटरसाइकिल और एक स्कूटी बरामद की है। शिवा पहले भी तीन आपराधिक मामलों में शामिल रहा है। इसकी गिरफ्तारी से बिंदापुर और रनहोला थानों के दो चोरी के मामलों का खुलासा हुआ है।
डीसीपी विचित्र वीर ने बताया कि पुलिस को वाहन चोरी की बढ़ती घटनाओं के बारे में जानकारी मिली थी। इसके बाद एसीपी ऑपरेशन अरविंद कुमार की देख रेख में एक विशेष टीम गठित की गई। इस टीम में इंस्पेक्टर मनीष चौधरी, हेड कांस्टेबल रामवीर, कृष्ण और सुनील शामिल थे। टीम ने सीसीटीवी फुटेज की मदद से संदिग्ध की तलाश शुरू की। कई दिनों की मेहनत के बाद पुलिस को पता चला कि शिवा चोरी की वारदातों में शामिल है।
14 अप्रैल 2025 की देर शाम पुलिस ने विकासपुरी इलाके में जल बोर्ड सीवरेज प्लांट के पास जाल बिछाया। जब शिवा चंद्र विहार की ओर से मोटरसाइकिल पर आया, तो पुलिस ने उसे रोक लिया। पूछताछ में उसने मोटरसाइकिल के दस्तावेज दिखाने में आनाकानी की। संदेह होने पर पुलिस ने उसे हिरासत में लेने की कोशिश की, लेकिन वह मोटरसाइकिल छोड़कर भागने लगा। पुलिस टीम ने पीछा करके उसे दबोच लिया।
जब पुलिस ने मोटरसाइकिल की जांच की, तो पता चला कि यह बिंदापुर इलाके से चुराई गई थी। शिवा से सख्ती से पूछताछ करने पर उसने एक और चोरी की बात कबूल की। उसकी निशानदेही पर पुलिस ने रनहोला इलाके से चुराई गई एक स्कूटी भी बरामद कर ली। डीसीपी ने बताया कि शिवा आदतन अपराधी है और पहले भी चोरी के मामलों में जेल जा चुका है।
पुलिस ने शिवा के खिलाफ मामला दर्ज कर लिया है और उससे पूछताछ जारी है। पुलिस को उम्मीद है कि उससे और भी चोरी की वारदातों का खुलासा हो सकता है। इस कार्रवाई से इलाके में वाहन चोरी की घटनाओं पर अंकुश लगने की उम्मीद है।
अपराध
नोएडा : 3.90 करोड़ की धोखाधड़ी करने वाला शातिर अभियुक्त गिरफ्तार

नोएडा, 12 अप्रैल। नोएडा क्राइम ब्रांच और सेक्टर-58 पुलिस ने संयुक्त कार्रवाई करते हुए 3.90 करोड़ रुपए की धोखाधड़ी के मामले में वांछित अभियुक्त वरुण कुमार त्यागी को गिरफ्तार कर लिया।
अभियुक्त पर 25,000 रुपए का इनाम घोषित था। उसे दिल्ली के मानसरोवर पार्क थाना क्षेत्र के राम नगर एक्सटेंशन से पकड़ा गया।
यह धोखाधड़ी जुलाई 2023 में सामने आई थी, जब नोएडा विकास प्राधिकरण ने बैंक ऑफ इंडिया, सेक्टर-62 में 200 करोड़ रुपए की एफडी (फिक्स्ड डिपॉजिट) कराई थी। एफडी के लिए रकम एचडीएफसी बैंक सेक्टर-18 और इंडियन बैंक सेक्टर-61 से भेजी गई थी। बैंक ऑफ इंडिया ने दो एफडी की मूल प्रतियां भी प्राधिकरण को सौंपी थीं।
हालांकि, जब 3 जुलाई 2023 को प्राधिकरण की ओर से बैंक में जाकर एफडी की पुष्टि की गई, तब पता चला कि वास्तव में कोई एफडी बनाई ही नहीं गई थी। वहीं, 30 जून को खाते से 3.90 करोड़ रुपए ट्रांसफर कर दिए गए थे। बैंक ने तत्काल 9 करोड़ रुपए के एक अन्य ट्रांसफर को रोकते हुए खाते को फ्रीज कर दिया था।
इस पूरे मामले की जांच में सामने आया कि आरोपियों ने जाली दस्तावेजों के जरिए नोएडा प्राधिकरण के नाम पर बैंक ऑफ इंडिया में फर्जी खाता खुलवाया।
इस खाते का संचालन अब्दुल खादर नामक व्यक्ति कर रहा था, जिसे पहले ही गिरफ्तार किया जा चुका है। इस गिरोह ने नोएडा प्राधिकरण के फर्जी हस्ताक्षरों वाले दस्तावेजों के आधार पर बैंक को धोखा देकर धनराशि ट्रांसफर कराई थी।
गिरफ्तार आरोपी वरुण कुमार त्यागी ने पूछताछ में बताया कि उसने अपने साथियों के साथ मिलकर इस पूरे षड्यंत्र को अंजाम दिया था। फर्जी एफडी के माध्यम से 3.90 करोड़ रुपए तीन अलग-अलग खातों में ट्रांसफर किए गए थे।
आरोपी ने बताया कि इस अपराध के बदले उसे करीब 4 लाख रुपए मिले थे। गिरफ्तारी से बचने के लिए वह केवल ‘त्यागी’ नाम का इस्तेमाल करता था। इस केस में पूर्व में गिरफ्तार अभियुक्तों में अब्दुल खादर, राजेश पांडेय, सुधीर, मुरारी, राजेश बाबू, मनु भोला (मास्टरमाइंड), त्रिदिब दास, राहुल मिश्रा उर्फ गौरव शर्मा और अजय कुमार पटेल शामिल हैं।
पुलिस के मुताबिक, मामले की जांच जारी है और अन्य संभावित संलिप्त लोगों की तलाश की जा रही है।
अपराध
जम्मू-कश्मीर : कठुआ में पुलिस ने अफीम की अवैध खेती नष्ट की, एक व्यक्ति गिरफ्तार

कठुआ, 10 अप्रैल। जम्मू-कश्मीर के कठुआ में पुलिस ने नशे के अवैध कारोबारियों के खिलाफ कार्रवाई करते हुए गुरुवार को बसोहली पुलिस स्टेशन के अंतर्गत एक गांव में अफीम की खेती को नष्ट कर भारी मात्रा में पौधे जब्त किए हैं। साथ ही, एक व्यक्ति को गिरफ्तार किया है।
जम्मू-कश्मीर में कठुआ के एसएसपी शोभित सक्सेना आईपीएस की निगरानी में पुलिस ने अफीम की खेती को नष्ट करने के लिए एक सफल अभियान चलाया। पुलिस टीम ने थाना बसोहली के अधिकार क्षेत्र पलासी में उगाए गए लगभग 126 किलोग्राम अफीम के पौधे (पोस्त) जब्त किए और एक व्यक्ति को गिरफ्तार किया है।
गत 7 अप्रैल को बसोहली थाने की गश्ती टीम को विश्वसनीय सूत्रों से सूचना मिली थी कि पलासी निवासी माखन लाल अपने घर के पीछे कृषि भूमि में अवैध रूप से अफीम के पौधे उगा रहा है। सूत्रों ने बताया कि वह इन पौधों को बेचने और व्यावसायिक लाभ के लिए इस्तेमाल कर रहा था। सूचना के आधार पर बसोहली थाने की पुलिस टीम ने एसएचओ बसोहली की देखरेख में और एसडीपीओ बसोहली तथा ईएमआईसी बसोहली की निगरानी में मौके पर पहुंचकर छापा मारा।
पुलिस ने कार्रवाई के दौरान 126 किलोग्राम वजन के 1,700 अफीम के पौधे जब्त किए। साथ ही आरोपी माखन लाल को मौके से गिरफ्तार कर लिया। इस मामले में बसोहली थाने में संबंधित धाराओं में एफआईआर दर्ज कर जांच शुरू की गई है। जांच अभी जारी है।
कठुआ पुलिस ने कहा कि वह कानून को बनाए रखने और ऐसी अवैध गतिविधियों को रोकने के लिए प्रतिबद्ध है, जो समाज की सुरक्षा और संरक्षा को प्रभावित करती हैं। अफीम की खेती और इसका अवैध व्यापार गंभीर अपराध हैं। पुलिस ऐसे अपराधियों के खिलाफ सख्त कदम उठाएगी।
-
व्यापार5 years ago
आईफोन 12 का उत्पादन जुलाई से शुरू होगा : रिपोर्ट
-
अपराध3 years ago
भगौड़े डॉन दाऊद इब्राहिम के गुर्गो की ये हैं नई तस्वीरें
-
अपराध3 years ago
बिल्डर पे लापरवाही का आरोप, सात दिनों के अंदर बिल्डिंग खाली करने का आदेश, दारुल फैज बिल्डिंग के टेंट आ सकते हैं सड़कों पे
-
न्याय8 months ago
मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे के खिलाफ हाईकोर्ट में मामला दायर
-
अनन्य2 years ago
उत्तराखंड में फायर सीजन शुरू होने से पहले वन विभाग हुआ सतर्क
-
अपराध2 years ago
पिता की मौत के सदमे से छोटे बेटे को पड़ा दिल का दौरा
-
राष्ट्रीय समाचार2 months ago
नासिक: पुराना कसारा घाट 24 से 28 फरवरी तक डामरीकरण कार्य के लिए बंद रहेगा
-
महाराष्ट्र5 years ago
31 जुलाई तक के लिए बढ़ा लॉकडाउन महाराष्ट्र में, जानिए क्या हैं शर्तें