राष्ट्रीय
एल्युमीनियम उद्योग में कोयले की वजह से आई कमी

अत्यधिक बिजली पर निर्भर एल्युमीनियम उद्योग कठिन समय से गुजर रहा है। यह कोल इंडिया लिमिटेड (सीआईएल) के हाल ही में कैप्टिव पावर प्लांट्स (सीपीपी) के लिए कोयले की आपूर्ति के कारण है। जिसके परिणामस्वरूप भारतीय एल्यूमिनियम उद्योग के लिए कोयले की कमी हुई है। एल्यूमिनियम सामरिक महत्व की धातु है और विविध क्षेत्रों के लिए एक आवश्यक वस्तु है, जो देश की अर्थव्यवस्था के लिए महत्वपूर्ण है। एल्युमीनियम गलाने के लिए उत्पादन के लिए निर्बाध और उच्च गुणवत्ता वाली बिजली आपूर्ति की आवश्यकता होती है, जिसे केवल इन-हाउस सीपीपी के माध्यम से पूरा किया जा सकता है।
इसलिए, बिना किसी अग्रिम सूचना के कोयले की आपूर्ति में इस तरह की भारी कटौती से उद्योग ठप हो जाएगा क्योंकि इसके पास स्थायी संचालन जारी रखने के लिए कोई शमन योजना तैयार करने का समय नहीं बचा है। साथ ही, इतने कम समय में आयात का सहारा लेना संभव नहीं है।
एल्युमीनियम उद्योग सीपीपी ने सुनिश्चित दीर्घकालिक कोयला आपूर्ति के लिए सीआईएल और उसकी सहायक कंपनियों के साथ एफएसए (ईंधन आपूर्ति समझौता) पर हस्ताक्षर किए हैं। इस सुरक्षित कोयले की आपूर्ति के अचानक बंद होने से उद्योग की गति रुक जाती है और डाउनस्ट्रीम क्षेत्र में एसएमई पर गंभीर प्रभाव पड़ता है जिसके परिणामस्वरूप तैयार उत्पादों की कीमतों में वृद्धि होती है। और उपभोक्ताओं पर बोझ पड़ता है।
एल्युमीनियम एक सतत प्रक्रिया आधारित अत्यधिक शक्ति गहन उद्योग है जिसमें एल्युमीनियम उत्पादन लागत का 40 प्रतिशत कोयले का होता है। देश की बढ़ती एल्युमीनियम मांग को पूरा करने के लिए घरेलू उत्पादन क्षमता को दोगुना करके 4.1 मिलियन टन प्रति वर्ष करने के लिए 1.2 लाख करोड़ रुपये (20 बिलियन डॉलर) का भारी निवेश किया गया है। भारतीय एल्यूमीनियम उद्योग ने स्मेल्टर और रिफाइनरी संचालन के लिए अपनी बिजली की आवश्यकता को पूरा करने और पावर ग्रिड पर निर्भरता कम करने के लिए 9000 मेगावाट सीपीपी क्षमता स्थापित की है।
किसी भी बिजली की कमी या विफलता (2 घंटे या अधिक) के परिणामस्वरूप बर्तनों में पिघला हुआ एल्यूमीनियम जम जाता है जिससे कम से कम छह महीने के लिए एल्यूमीनियम संयंत्र बंद हो जाता है जिससे भारी नुकसान होता है और खर्च फिर से शुरू हो जाता है, और एक बार फिर से शुरू होने में लगभग एक साल लग जाता है। वांछित धातु शुद्धता प्राप्त करने के लिए।
पिछले कुछ वर्षों में कोयले की बढ़ती कीमतों, विभिन्न शुल्कों में वृद्धि, उपकर और आरपीओ के कारण भारत में उत्पादन लागत में वृद्धि के कारण भारतीय एल्युमीनियम उद्योग पहले से ही विश्व स्तर पर प्रतिस्पर्धी बने रहने के लिए संघर्ष कर रहा है। इसके अलावा, बिना छूट वाले केंद्रीय और राज्य करों और शुल्कों की उच्च घटना, एल्यूमीनियम उत्पादन लागत का 15 प्रतिशत है जो दुनिया में सबसे अधिक है। यह भारतीय एल्युमीनियम उद्योग की स्थिरता और प्रतिस्पर्धात्मकता पर प्रतिकूल प्रभाव डाल रहा है।
एक सतत प्रक्रिया-आधारित बिजली गहन उद्योग होने के नाते, एल्युमीनियम एसोसिएशन ऑफ इंडिया ने स्थायी संचालन जारी रखने और पावर ग्रिड पर लोड को कम करने के लिए कोल इंडिया से निम्नलिखित समर्थन मांगा है:
1) टिकाऊ उद्योग संचालन के लिए सुरक्षित लिंकेज के खिलाफ पर्याप्त कोयले की आपूर्ति की बहाली।
2) एल्युमीनियम उद्योग को कोयला प्रेषण के लिए प्राथमिकता के आधार पर रेलवे रेक का आवंटन।
3) नीलामी लिंकेज के लिए एमओसी परिपत्र, दिनांक 15 फरवरी, 2016 के अनुसार, 75 प्रतिशत (पावर) और 25 प्रतिशत (गैर-विद्युत) के अनुपात में रेक के माध्यम से कोयले का आवंटन।
4) सुरक्षित कोयले की आपूर्ति को रोकने या कम करने का कोई भी निर्णय तदर्थ आधार पर नहीं लिया जाना चाहिए। सीपीपी आधारित उद्योग को कोयले या बिजली के आयात के लिए शमन योजना तैयार करने के लिए पहले से (2 से 3 महीने) पूर्व सूचना देनी चाहिए।
राजनीति
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का संकल्प है बिहार का विकास : गिरिराज सिंह

पटना, 22 मई। केंद्रीय मंत्री और भाजपा के नेता गिरिराज सिंह ने गुरुवार को कहा कि एनडीए की सरकार बनने के बाद बिहार तेजी से विकास कर रहा है। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का संकल्प है बिहार का विकास।
पटना में पत्रकारों से बातचीत के दौरान इस महीने के अंत में प्रधानमंत्री मोदी के बिहार दौरे को लेकर केंद्रीय मंत्री गिरिराज सिंह ने कहा कि प्रधानमंत्री मोदी का मानना है कि जब तक पूर्वांचल का विकास नहीं होगा, तब तक देश विकसित नहीं बन सकता। पूर्वांचल का गेटवे बिहार है।
उन्होंने दावा करते हुए कहा कि जब से एनडीए की सरकार आई है तब से गंगा नदी पर 17 पुल बने हैं। सड़कों का जाल बिछ गया है। बिहार के विकास के लिए प्रधानमंत्री संकल्पित हैं। उन्होंने दावा करते हुए कहा कि प्रधानमंत्री और मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की जोड़ी बिहार को नई ऊंचाई पर ले जाएगी।
केंद्रीय मंत्रियों के लगातार बिहार दौरे को लेकर भाजपा के नेता गिरिराज सिंह ने कहा कि वे यहां आ रहे हैं, बिहार में आने पर कोई बंधन नहीं है। बिहार की बात कर रहे हैं, बिहार के लिए कुछ कर रहे हैं। यह उन लोगों को सोचना चाहिए जिन्होंने 20 साल पहले बिहार की क्या स्थिति बनाई थी? आज भी बिहार के लोग को लगता है कि फिर लालू यादव का राज आ गया तो क्या होगा?
उन्होंने कहा कि आज नरेंद्र मोदी और नीतीश कुमार के नेतृत्व में बिहार का विकास हो रहा है। अगली सरकार भी बिहार में एनडीए की ही बनेगी। पाकिस्तान को आतंकवाद के मुद्दे पर पोल खोलने के लिए विदेश जाने वाले प्रतिनिधिमंडल पर कांग्रेस के सवाल उठाए जाने पर केंद्रीय मंत्री गिरिराज सिंह ने कहा कि कांग्रेस भ्रम की स्थिति में चल रही है। कांग्रेस के कई लोग तारीफ कर रहे हैं तो कोई विरोध कर रहा है। उन्होंने कहा कि पहले भी प्रतिनिधिमंडल भेजा गया था। हम लोग आतंकवाद के खिलाफ लड़ रहे हैं, आगे भी अगर आतंक को कोई फैलाएगा तो हम उसे मारेंगे।
अपराध
पंजाब पुलिस की बड़ी कार्रवाई: बटाला में आईएसआई समर्थित आतंकी नेटवर्क का भंडाफोड़

चंडीगढ़, 20 मई। पंजाब पुलिस ने पाकिस्तान समर्थित आतंकी नेटवर्क के खिलाफ बड़ी कार्रवाई की है। बटाला पुलिस ने छह आतंकियों को गिरफ्तार किया है, जो आईएसआई के निर्देश पर काम कर रहे थे। ये आतंकी बब्बर खालसा इंटरनेशनल (बीकेआई) से जुड़े हुए थे और इनका मास्टरमाइंड मनिंदर बिल्ला और मन्नू अगवान था।
बटाला पुलिस ने इसकी जानकारी अपने सोशल मीडिया एक्स हैंडल पर दी है।
पुलिस के एक्स हैंडल के मुताबिक, गिरफ्तार आतंकियों की पहचान जतिन कुमार उर्फ रोहन, बरिंदर सिंह उर्फ साजन, राहुल मसीह, अब्राहम उर्फ रोहित, सोहित और सुनील कुमार के रूप में हुई है। इनके पास से एक 30 बोर पिस्तौल बरामद हुई है।
पुलिस ने बताया कि ये आतंकी बटाला में एक शराब की दुकान पर ग्रेनेड हमला करने की कोशिश कर चुके थे। गिरफ्तार आतंकियों को पुर्तगाल स्थित मनिंदर बिल्ला और बीकेआई मास्टरमाइंड मन्नू अगवान से सीधे निर्देश मिल रहे थे। मन्नू अगवान ने हाल ही में अमेरिका में हैप्पी पासियन की गिरफ्तारी के बाद ऑपरेशनल चार्ज संभाला था।
गिरफ्तार आतंकियों में से एक जतिन कुमार पुलिस मुठभेड़ में घायल हो गया। उसने पुलिस पर गोलियां चलाईं और जवाबी कार्रवाई में घायल हो गया। उसे सिविल अस्पताल बटाला में भर्ती कराया गया है।
पुलिस ने इस मामले में बीएनएस और यूएपीए के तहत मामला दर्ज कर लिया है और आगे की जांच कर रही है। पुलिस का कहना है कि वे राज्य में आतंकी नेटवर्क को बेअसर करने और शांति और सार्वजनिक सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए प्रतिबद्ध हैं।
इस कार्रवाई के बाद पुलिस आतंकी नेटवर्क के अन्य सदस्यों को पकड़ने की कोशिश कर रही है। पुलिस का कहना है कि वे किसी भी कीमत पर आतंकवाद को पनपने नहीं देंगे और राज्य की सुरक्षा के लिए हर संभव कदम उठाएंगे।
राष्ट्रीय
राष्ट्रपति मुर्मू आज सबरीमाला मंदिर में करेंगी पूजा-अर्चना, भक्तों के लिए रहेगा बंद

नई दिल्ली, 19 मई। राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू सोमवार को केरल के सबरीमाला श्री अय्यप्पा मंदिर में दर्शन करेंगी। वे इस पवित्र मंदिर में पूजा करने वाली भारत की पहली राष्ट्रपति होंगी।
राष्ट्रपति की यह ऐतिहासिक यात्रा देश के सबसे प्रमुख तीर्थस्थलों में से एक मंदिर के इतिहास में एक बड़ा माइलस्टोन है।
मंदिर का प्रबंधन करने वाली त्रावणकोर देवासम बोर्ड (टीडीबी) ने राष्ट्रपति की यात्रा की पुष्टि की है और इसे एक महत्वपूर्ण अवसर बताया है। राष्ट्रपति मुर्मू की यह यात्रा केरल के दो दिवसीय दौरे का हिस्सा है। बताया जा रहा है कि राष्ट्रपति पंपा बेस कैंप पहुंचेंगी, जहां से वे पारंपरिक भक्तों की तरह 4.25 किमी की चढ़ाई पैदल तय कर सकती हैं या आपातकालीन सड़क के माध्यम से वाहन में मंदिर पहुंच सकती हैं। हालांकि, उनकी यात्रा को लेकर अंतिम फैसला स्पेशल प्रोटेक्शन ग्रुप (एसपीजी) लेगा, जो उनकी सुरक्षा की जिम्मेदारी संभालता है।
14 मई को मलयालम महीने एडवम से जुड़े मासिक अनुष्ठानों के लिए खोला गया मंदिर, उनकी यात्रा के समय के आसपास इन अनुष्ठानों का समापन करेगा।
मंदिर में बढ़ी हुई सुरक्षा के मद्देनजर अधिकारियों ने 18 और 19 मई को प्रतिबंध लागू किए हैं। भक्तों का प्रवेश अस्थायी रूप से रोक दिया जाएगा और उन दिनों के लिए वर्चुअल क्यू टिकट प्रणाली को निलंबित कर दिया गया है।
केरल के पथानामथिट्टा जिले में पश्चिमी घाट में स्थित सबरीमाला भारत के सबसे पवित्र और सबसे अधिक देखे जाने वाले तीर्थ स्थलों में से एक है, जहां हर साल लाखों भक्त आते हैं।
3,000 फीट की ऊंचाई पर स्थित सबरीमाला में पारंपरिक रूप से तीर्थयात्रियों को 41 दिनों के व्रत से गुजरना पड़ता है, जिसके बाद पंपा नदी के तट से नंगे पैर चढ़ाई करनी होती है।
इससे पहले राष्ट्रपित द्रोपदी मुर्मू ने सोलापुर आग हादसे में हताहत हुए लोगों और उनके परिजनों के लिए संवेदनाएं व्यक्त की थी। उन्होंने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर लिखा था, “सोलापुर, महाराष्ट्र में एक फैक्ट्री में आग लगने से कई लोगों की मृत्यु होने का समाचार अत्यंत पीड़ादायक है। मैं सभी शोक संतप्त परिवारों के प्रति गहन संवेदना व्यक्त करती हूं और घायल हुए लोगों के शीघ्र स्वस्थ होने की कामना करती हूं।”
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