अपराध
तालिबान के हमले तेज होने से भारत में रह रहे अफगानी चिंतित

भारत में हजारों अफगान शरणार्थी और शरण चाहने वाले लोग भय और अनिश्चितता में जी रहे हैं, क्योंकि तालिबान ने अफगान सरकारी बलों पर अपने हमले तेज कर दिए हैं और युद्धग्रस्त देश में और अधिक क्षेत्रों पर कब्जा कर लिया है। डीडब्ल्यू की रिपोर्ट में यह जानकारी दी गई है। कई अफगान शरणार्थी और शरण चाहने वाले दिल्ली के विभिन्न इलाकों में रहते हैं और वे रेस्तरां, बेकरी और मिष्ठान्न की दुकानें चलाते हैं।
रिपोर्ट में कहा गया है कि सुरक्षा कारणों से अफगानिस्तान से भागने के बाद सैकड़ों अफगान परिवारों ने पिछले कुछ वर्षों में खिड़की एक्सटेंशन के आसपास अपना आशियाना बना लिया है।
लेकिन तालिबान के आगे बढ़ने की ताजा खबरों ने उन्हें डरा दिया है और वे अपने रिश्तेदारों के घर वापस जाने को लेकर चिंतित हैं।
भारत में रहने वाले अधिकांश अफगानों के लिए, अंतिम लक्ष्य अमेरिका या यूरोप में फिर से बसना है, जहां उनका मानना है कि अधिक आर्थिक अवसर हैं। लेकिन कोविड-19 महामारी को देखते हुए, कई देशों ने यात्रा और प्रवास के लिए अपने दरवाजे बंद कर लिए हैं।
एक छात्र रोसाना ने डीडब्ल्यू को बताया, मैं जानती हूं कि मेरे अपने वतन वापस जाने की संभावना पूरी तरह से खत्म हो गई है। मैं बस यही चाहती हूं कि मेरे दोस्त और रिश्तेदार सुरक्षित रहें।
नसीम ने डीडब्ल्यू से कहा, जब हम ऐसी खबरें सुनते हैं तो यह डरावना लगता है। मैं अपने माता-पिता के बारे में सोचता हूं जो अभी भी पूर्वोत्तर अफगानिस्तान में पंजशीर घाटी में हैं। हालांकि वह इस समय वहां सुरक्षित है, मैं इतिहास को खुद को दोहराते हुए नहीं देखना चाहता।
वह तीन साल पहले दिल्ली आए थे और उम्मीद कर रहे हैं कि वह अपने माता-पिता को भी ला सकें, जो कि मौजूदा परिस्थितियों में संभव नहीं है।
हजारों अफगान शरणार्थी और शरण चाहने वाले, जिनमें से अधिकांश हिंदू या सिख धर्मों से संबंधित हैं, जो अफगानिस्तान में धार्मिक अल्पसंख्यक हैं, ने पिछले एक दशक में भारत को अपना घर बना लिया है।
संयुक्त राष्ट्र उच्चायुक्त के अनुसार, शरणार्थियों के लिए 2019 में भारत में लगभग 40,000 शरणार्थी और शरण चाहने वाले पंजीकृत थे और अफगान दूसरा सबसे बड़ा समुदाय था, जिसमें 27 प्रतिशत शामिल थे।
आदिला बशीर, जो एक ट्रैवल एजेंसी के लिए काम करतीं हैं, ने भी डीडब्ल्यू से बात की। उन्होंने कहा, हम सुरक्षा और बेहतर जीवन की तलाश में अपने युद्धग्रस्त देश से भाग गए थे। अपने जीवन और घरों को त्यागने के साथ आने वाले संघर्षों के बावजूद, हम में से कई लोगों ने छोटी नौकरियां पाई हैं या अपना खुद का व्यवसाय भी खोला है।
बशीर ने कहा, लेकिन कोई सुरक्षा नहीं है और कल क्या हो सकता है, यह बताने वाला कोई नहीं है।
पिछले कुछ हफ्तों में, विद्रोहियों ने ईरान, पाकिस्तान और तुर्कमेनिस्तान के साथ अफगानिस्तान की सीमाओं के साथ 14 सीमा शुल्क चौकियों में से कम से कम आठ पर नियंत्रण हासिल कर लिया है।
देश के दक्षिण में सबसे बड़े प्रांतों में से एक, हेलमंद में तालिबान ने 12 जिलों पर कब्जा कर लिया है और इसी चीज को लेकर लोग चिंतित हैं।
फार्मास्युटिकल वर्कर वज्मा अब्दुल ने डीडब्ल्यू को बताया, हमने रिपोर्टें सुनी हैं कि तालिबान ने अपने कब्जे वाले जिलों में महिलाओं पर कठोर प्रतिबंध लगा रहे हैं और स्कूलों में आग लगा रहे हैं। यह परेशान करने वाला और बुरे समय का एक फ्लैशबैक है।
अब्दुल अपने भाई बशीर के साथ 2014 में दिल्ली चली गई, लेकिन उसकी चाची और चाचा अभी भी अफगानिस्तान में रहते हैं।
अब्दुल ने कहा, मैं उनके बारे में चिंता करना बंद नहीं कर सकता और टेलीफोन लाइनें इतने लंबे समय से बंद हैं। ये बहुत कठिन समय है।
लड़ाई ने कई लोगों को अपने घरों से भागने के लिए भी मजबूर किया है और वर्ष की शुरूआत से लगभग 300,000 अफगान विस्थापित हुए हैं।
दिल्ली के एक किराना स्टोर डीलर इदरीस हसन, जो मूल रूप से मजार-ए-शरीफ से संबंध रखते हैं, ने डीडब्ल्यू से कहा, मेरे गांव के कई लोग तालिबान द्वारा मारे गए हैं और कई लापता हैं। तालिबान जिस तरह से आगे बढ़ रहा है वह बहुत ही भयावह है और मैं पूरी तरह से असहाय महसूस कर रहा हूं।
हसन ने कहा, मेरे पास यह जानने का कोई तरीका नहीं है कि जमीन पर क्या हो रहा है और मुझे नहीं पता कि किस पर विश्वास करूं। मैं लगातार डर में जी रहा हूं।
अपराध
जयपुर: ईडी ने पूर्व मंत्री प्रताप सिंह खाचरियावास के आवास पर छापेमारी की

जयपुर, 15 अप्रैल। केंद्रीय प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने मंगलवार को जयपुर में बड़ी कार्रवाई करते हुए पूर्व मंत्री प्रताप सिंह खाचरियावास के आवास पर छापेमारी शुरू की। प्रताप सिंह राजस्थान की पूर्ववर्ती अशोक गहलोत सरकार में कैबिनेट मंत्री रह चुके हैं।
यह कार्रवाई प्रदेश के चर्चित 2,850 करोड़ रुपये के पीएसीएल घोटाले से जुड़ी बताई जा रही है। कांग्रेस नेता प्रताप सिंह पर आरोप है कि घोटाले की कुछ राशि उनके पास भी है।
सुप्रीम कोर्ट ने 2 फरवरी 2016 को सेवानिवृत्त सीजेआई आरएम लोढ़ा की अध्यक्षता में कमेटी का गठन किया था। कोर्ट ने कमेटी से कहा था कि पीएसीएल की संपत्तियों को नीलाम करके 6 माह में लोगों को ब्याज सहित भुगतान करें। सेबी के आकलन के अनुसार, पीएसीएल की 1.86 लाख करोड़ रुपये की संपत्ति है, जो निवेशकों की जमा राशि की तुलना में 4 गुना है।
पीएसीएल कंपनी की योजनाओं को अवैध मानते हुए सेबी ने 22 अगस्त 2014 को कंपनी के कारोबार बंद कर दिए थे, जिसके चलते निवेशकों की पूंजी कंपनी के पास जमा रह गई। इसके बाद कंपनी और सेबी के बीच सुप्रीम कोर्ट में केस चला और सेबी केस जीत गई। 17 साल तक राज्य में रियल एस्टेट में निवेश का काम करने वाली पीएसीएल में प्रदेश के 28 लाख लोगों ने करीब 2,850 करोड़ और देश के 5.85 करोड़ लोगों ने कुल 49,100 करोड़ का निवेश किया था।
कंपनी पर बिहार, महाराष्ट्र, मध्य प्रदेश, असम, कर्नाटक, जयपुर ग्रामीण, उदयपुर, आंध्र प्रदेश, पंजाब, छत्तीसगढ़ समेत आधे से ज्यादा राज्यों में मुकदमे दर्ज हैं। इस घोटाले का पहला खुलासा जयपुर में ही हुआ था, जब 2011 में चौमू थाने में ठगी और चिट फंड एक्ट के तहत पहला केस दर्ज किया गया। मामले में प्रताप सिंह की भागीदारी 30 करोड़ के आसपास बताई जा रही है, जिसको लेकर अब ईडी जांच कर रही है।
अपराध
सलमान खान को फिर मिली जान से मारने की धमकी

मुंबई: फिल्म अभिनेता सलमान खान को एक बार फिर जान से मारने की धमकी मिली है। सलमान खान लॉरेंस बिश्नोई गैंग के निशाने पर हैं और लॉरेंस गैंग सलमान को जान से मारने की धमकी भी दे चुका है, जिसके बाद से सलमान खान को सोशल मीडिया पर लगातार जान से मारने की धमकियां मिल रही हैं। मुंबई ट्रैफिक कंट्रोल रूम को एक व्हाट्सएप संदेश मिला जिसमें सलमान खान को उनके घर में घुसकर जान से मारने और उनकी कार को बम से उड़ाने की धमकी दी गई है। यह धमकी भरा संदेश मिलने के बाद वर्ली पुलिस ने ट्रैफिक पुलिस की शिकायत पर अज्ञात व्यक्ति के खिलाफ धमकी का मामला दर्ज कर लिया है।
मुंबई पुलिस अब इस बात की जांच कर रही है कि सलमान खान को धमकी देने वाला शख्स किसी गिरोह से जुड़ा है या फिर किसी ने शरारत में यह धमकी दी है। धमकी भरे संदेश के बाद पुलिस भी अलर्ट पर है। सलमान खान के घर के आसपास सुरक्षा के कड़े इंतजाम किए गए हैं। इसके साथ ही सलमान खान को वाई प्लस सुरक्षा भी प्राप्त है। ऐसे में पुलिस ने भी इस धमकी को गंभीरता से लिया है।
मुंबई पुलिस आयुक्त विवेक पंचालकर ने भी पुलिस को धमकी भरे फोन कॉल, व्हाट्सएप या सोशल मीडिया पर धमकी भरे संदेशों को लेकर सतर्क रहने का आदेश दिया है। मुंबई पुलिस और क्राइम ब्रांच भी इस मामले की जांच कर रही है। सलमान खान की जान को खतरा है, इसलिए पुलिस किसी भी तरह की लापरवाही नहीं बरतना चाहती है और पुलिस ने इस मामले में जांच भी शुरू कर दी है। सलमान खान को इससे पहले भी कई बार जान से मारने की धमकियां मिल चुकी हैं। पुलिस ने इस मामले में तीन लोगों को गिरफ्तार भी किया है।
अपराध
दिल्ली पुलिस ने ऑटो लिफ्टर को दबोचा, चोरी की मोटरसाइकिल और स्कूटी बरामद

नई दिल्ली, 14 अप्रैल। दिल्ली पुलिस की एंटी ऑटो थेफ्ट स्क्वाड ने सोमवार को एक शातिर ऑटो लिफ्टर को गिरफ्तार किया। पकड़े गए आरोपी का नाम शिवा है, जो दिल्ली के निजामपुर इलाके का रहने वाला है। पुलिस ने इसके पास से एक चोरी की मोटरसाइकिल और एक स्कूटी बरामद की है। शिवा पहले भी तीन आपराधिक मामलों में शामिल रहा है। इसकी गिरफ्तारी से बिंदापुर और रनहोला थानों के दो चोरी के मामलों का खुलासा हुआ है।
डीसीपी विचित्र वीर ने बताया कि पुलिस को वाहन चोरी की बढ़ती घटनाओं के बारे में जानकारी मिली थी। इसके बाद एसीपी ऑपरेशन अरविंद कुमार की देख रेख में एक विशेष टीम गठित की गई। इस टीम में इंस्पेक्टर मनीष चौधरी, हेड कांस्टेबल रामवीर, कृष्ण और सुनील शामिल थे। टीम ने सीसीटीवी फुटेज की मदद से संदिग्ध की तलाश शुरू की। कई दिनों की मेहनत के बाद पुलिस को पता चला कि शिवा चोरी की वारदातों में शामिल है।
14 अप्रैल 2025 की देर शाम पुलिस ने विकासपुरी इलाके में जल बोर्ड सीवरेज प्लांट के पास जाल बिछाया। जब शिवा चंद्र विहार की ओर से मोटरसाइकिल पर आया, तो पुलिस ने उसे रोक लिया। पूछताछ में उसने मोटरसाइकिल के दस्तावेज दिखाने में आनाकानी की। संदेह होने पर पुलिस ने उसे हिरासत में लेने की कोशिश की, लेकिन वह मोटरसाइकिल छोड़कर भागने लगा। पुलिस टीम ने पीछा करके उसे दबोच लिया।
जब पुलिस ने मोटरसाइकिल की जांच की, तो पता चला कि यह बिंदापुर इलाके से चुराई गई थी। शिवा से सख्ती से पूछताछ करने पर उसने एक और चोरी की बात कबूल की। उसकी निशानदेही पर पुलिस ने रनहोला इलाके से चुराई गई एक स्कूटी भी बरामद कर ली। डीसीपी ने बताया कि शिवा आदतन अपराधी है और पहले भी चोरी के मामलों में जेल जा चुका है।
पुलिस ने शिवा के खिलाफ मामला दर्ज कर लिया है और उससे पूछताछ जारी है। पुलिस को उम्मीद है कि उससे और भी चोरी की वारदातों का खुलासा हो सकता है। इस कार्रवाई से इलाके में वाहन चोरी की घटनाओं पर अंकुश लगने की उम्मीद है।
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