Connect with us
Sunday,06-July-2025
ताज़ा खबर

अंतरराष्ट्रीय

भारत में प्रौद्योगिकी कंपनियों के कार्बन उत्सर्जन में 85 प्रतिशत की गिरावट

Published

on

 एक ओर जहां कोविड-19 महामारी बीमारी, मृत्यु और आर्थिक गतिविधियों में गिरावट जैसी नकारात्मकता लेकर आई है, वहीं इसकी वजह से कुछ सकारात्मक चीजें भी देखने को मिली हैं और इसने वित्त वर्ष 2020-21 में भारत के 194 अरब डॉलर के आउटसोसिर्ंग प्रौद्योगिकी उद्योग को कार्बन उत्सर्जन कम करने की ओर अग्रसर किया है। शुक्रवार को जारी एक नई रिपोर्ट में यह खुलासा हुआ है।

मार्केट इंटेलिजेंस कंपनी अनअर्थइनसाइट की एक रिपोर्ट से पता चला है कि महामारी ने आईटी, आईटीईएस, इंजीनियरिंग, जीआईसी/जीसीसी और स्टार्टअप सहित आउटसोसिर्ंग प्रौद्योगिकी कंपनियों से कार्बन उत्सर्जन में 85 प्रतिशत की कमी की है।

इस कमी का अर्थ है पूर्व-महामारी के स्तर से लगभग तीन लाख टन कार्बन उत्सर्जन में गिरावट। अगर सालाना आधार पर देखें तो यह गिरावट 20 लाख टन है।

कार्बन उत्सर्जन में गिरावट का कारण कोविड-प्रेरित वर्क फ्रॉम होम (दफ्तर जाए बिना घर से काम), डिजिटल प्लेटफॉर्म, इलेक्ट्रिक वाहन (ईवी) और डिजिटल कैंपस हायरिंग प्लेटफॉर्म को अपनाने जैसे कारकों को बताया गया है।

आउटसोसिर्ंग उद्योग द्वारा वित्त वर्ष 2019-20 में 2.9 अरब डॉलर की तुलना में वित्त वर्ष 2020-21 में यात्रा लागत, यात्रा लागत और अंतराष्र्ट्ीय यात्रा पर केवल 75 करोड़ डॉलर खर्च किए गए हैं। शीर्ष पांच आईटी सर्विस कंपनियों – टीसीएस, इंफोसिस, एचसीएल, विप्रो और टेक महिंद्रा – ने वित्त वर्ष 2021 में यात्रा लागत पर लगभग 37 करोड़ डॉलर खर्च किए, जो वित्त वर्ष 2020 में 1.4 अरब डॉलर की तुलना में 75 प्रतिशत कम है।

वहीं फिलहाल आउटसोसिर्ंग उद्योग में लगभग 44 लाख कर्मचारियों में से केवल चार से पांच प्रतिशत कर्मचारी ही काम के लिए यात्रा कर रहे हैं। वैश्विक और घरेलू आईटी फर्मों के कर्मचारियों और परिवारों के पूर्ण टीकाकरण के बाद अनुमानित 20 प्रतिशत से 25 प्रतिशत कर्मचारी अगले साल की शुरूआत में काम पर वापस आ जाएंगे।

महामारी के बाद (अगले वर्ष के मध्य) एआई ट्रांसपोर्टेशन टेक प्लेटफॉर्म के साथ-साथ इलेक्ट्रिक वाहनों (ईवी) की तैनाती अधिक देखने को मिलेगी। तकनीकी कंपनियों का लक्ष्य 2025 तक ईवी पर लगभग 5 प्रतिशत कर्मचारी यात्रा को 25 प्रतिशत से 30 प्रतिशत तक ले जाना है।

रिपोर्ट में सुझाव दिया गया है कि उपभोक्ता-ग्रेड अनुभव के साथ भविष्य की घरेलू और अंतरराष्ट्रीय यात्रा की जरूरतों से बचने के लिए डिजिटल उपकरणों को अपनाने से भी कार्बन उत्सर्जन कम करने में मदद मिलेगी।

अनअर्थइनसाइट के संस्थापक और सीईओ गौरव वासु ने एक बयान में कहा, आउटसोसिर्ंग उद्योग कोविड से पहले भी हाइब्रिड वकिर्ंग मॉडल, इलेक्ट्रिक मोबिलिटी को अपनाने की राह पर था। हालांकि महामारी और डिजिटल उपकरणों/प्रौद्योगिकी को तेजी से अपनाने के परि²श्य को नाटकीय रूप से बदल दिया है और आज कार्बन उत्सर्जन में कमी लंबे समय तक टिकाऊ दिखती है।

इसके अलावा, रिपोर्ट से पता चला है कि कोविड ने बड़े उद्योग के दिग्गजों को डिजिटल कैंपस हायरिंग प्लेटफॉर्म जैसी तकनीकों को तैनात करने के लिए प्रेरित किया, जिससे देश भर में 1,000 से अधिक परिसरों की यात्रा के संदर्भ में उत्पन्न कार्बन उत्सर्जन में काफी कमी आई है।

2025 तक, प्रौद्योगिकी उद्योग के लिए 75 प्रतिशत कैंपस हायरिंग उन्नत एंड-टू-एंड डिजिटल प्लेटफॉर्म/टूल्स के माध्यम से होने की उम्मीद है। यह अन्य टियर-1 और टियर-2 आईटी फर्मों को भी देश भर से स्नातक प्रतिभाओं को आकर्षित करने के लिए डिजिटल प्लेटफॉर्म बनाने के लिए मजबूर करेगा।

वासु ने कहा कि कोविड-19 व्यवधान ने आउटसोसिर्ंग संगठनों, ग्राहकों और कर्मचारियों को पर्यावरण के अनुकूल बना दिया है, जिससे उन्हें कार्बन उत्सर्जन में कमी और डिजिटल कार्यस्थल की ओर अपनी यात्रा में तेजी लाने में मदद मिली है।

इस तरह से आने वाले समय में कार्बन उत्सर्जन में कमी के आसार बनते दिखाई दे रहे हैं।

अनअर्थइनसाइट की ओर से वित्त वर्ष 2020-21 के लिए किए गए अध्ययन में भारत में लगभग 2,000 से अधिक आउटसोसिर्ंग प्रौद्योगिकी कंपनियां शामिल रहीं। निष्कर्ष कंपनियों की वार्षिक रिपोर्ट, प्राथमिक शोध और अनअर्थइनसाइट डेटाबेस पर आधारित हैं।

व्यापार

जीएसटी डे : बीते 5 वर्षों में वस्तु एंव सेवा कर संग्रह बढ़कर दोगुना हुआ, सक्रिय करदाता 1.51 करोड़ के पार

Published

on

नई दिल्ली, 30 जून। 1 जुलाई 2025 को वस्तु एवं सेवा कर (जीएसटी) के आठ वर्ष पूरे होने जा रहे हैं। जीएसटी को एक सशक्त और अधिक एकीकृत अर्थव्यवस्था की नींव रखने में महत्वपूर्ण मानते हुए वर्ष 2017 में शुरू किया गया था।

जीएसटी के साथ कर अनुपालन सरल होने के साथ कारोबारियों की लागत में कमी आई और माल को बिना किसी परेशानी के देश के एक राज्य से दूसरे में ले जाने की अनुमति मिली। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने जीएसटी का परिचय ‘नए भारत के एक मार्गदर्शक कानून’ के रूप में दिया था। बीते आठ वर्षों में जीएसटी को जबरदस्त सफलता मिली और जीएसटी कलेक्शन को लेकर लगातार वृद्धि दर्ज की गई।

आधिकारिक आंकड़ों के अनुसार, जीएसटी कलेक्शन को लेकर बीते 5 वर्षों में लगभग दोगुना वृद्धि दर्ज की गई है, जो कि वित्त वर्ष 2020-21 के दौरान 11.37 लाख करोड़ रुपए से बढ़कर वित्त वर्ष 2024-2025 में 22.08 लाख करोड़ रुपए हो गया। जीएसटी कलेक्शन में यह तेजी अनुपालन और आर्थिक गतिविधि में निरंतर वृद्धि को दर्शाती है।

आधिकारिक डेटा के अनुसार, जीएसटी कलेक्शन के साथ-साथ सक्रिय जीएसटी करदाताओं की संख्या में भी जबरदस्त उछाल दर्ज किया गया है, जो कि 30 अप्रैल 2025 तक बढ़कर 1,51,80,087 हो गए हैं।

जीएसटी के वर्तमान स्ट्रक्चर में दरों के चार मुख्य स्लैब 5 प्रतिशत, 12 प्रतिशत, 18 प्रतिशत और 28 प्रतिशत हैं। ये दरें देशभर में अधिकांश वस्तुओं और सेवाओं पर लागू होती हैं। हालांकि, मुख्य स्लैब के अलावा, तीन विशेष दरें भी तय की गई हैं। जीएसटी की दर सोना, चांदी, हीरा और आभूषण पर 3 प्रतिशत, कटे एवं पॉलिश किए गए हीरे पर 1.5 प्रतिशत और कच्चे हीरे पर 0.25 प्रतिशत लगती है।

जीएसटी को एक राष्ट्र, एक कर के उद्देश्य से पेश किया गया था। जीएसटी आने के साथ ही विभिन्न अप्रत्यक्ष करों की एक विस्तृत श्रृंखला को एक कर दिया गया। जीएसटी ने उत्पाद शुल्क, सेवा कर और वैट जैसे करों की जगह ले ली। इससे देश में कर प्रणाली में एकरूपता आई।

Continue Reading

व्यापार

भारत के परिवहन, लॉजिस्टिक्स सेक्टर में डील वैल्यू 2025 की पहली छमाही में 85 प्रतिशत बढ़ी

Published

on

नई दिल्ली, 27 जून। भारत के परिवहन और लॉजिस्टिक्स सेक्टर ने 2025 की पहली छमाही में शानदार वृद्धि हासिल की, जिसमें कुल डील वैल्यू बढ़कर 609.7 मिलियन डॉलर हो गई, जो कि 2024 की पहली छमाही से 85 प्रतिशत की मजबूत वृद्धि को दर्शाता है।

ग्रांट थॉर्नटन भारत रिपोर्ट के अनुसार, डील वॉल्यूम में 16 से 25 तक की शानदार वृद्धि हुई, जो निवेशकों के मजबूत विश्वास और सेक्टर के परिवर्तन में निरंतर रुचि को दर्शाता है।

भारत का लॉजिस्टिक्स सेक्टर स्थिर मांग, विकसित होते कॉस्ट स्ट्रक्चर और सस्टेनेबिलिटी पर बढ़ते जोर के साथ एक गतिशील चरण से गुजर रहा है।

निष्कर्षों से पता चला कि माल ढुलाई और सर्विसिंग की बढ़ती लागत मार्जिन पर भार डाल रही है, बावजूद इसके इन्वेंट्री मूवमेंट मजबूत बना हुआ है।

यह सेक्टर डिजिटल इंफ्रास्ट्रक्चर और कम उत्सर्जन वाली सुविधाओं में महत्वपूर्ण निवेश के साथ-साथ लागत कम करने और टर्नअराउंड समय में सुधार करने के उद्देश्य से पॉलिसी टेलविंड के साथ सस्टेनेबिलिटी में भी प्रगति कर रहा है।

2025 की दूसरी तिमाही के लिए विलय और अधिग्रहण (एमएंडए) मूल्यों में उछाल डेल्हीवरी द्वारा ईकॉम एक्सप्रेस के अधिग्रहण जैसे ऐतिहासिक डील की वजह से देखा गया।

रिपोर्ट में बताया गया है कि प्राइवेट इक्विटी निवेशकों ने स्मार्टशिफ्ट (पोर्टर), रूटमैटिक और सेल्सियस लॉजिस्टिक्स जैसी डिजिटल-फर्स्ट लॉजिस्टिक्स कंपनियों का समर्थन करना जारी रखा, जो कि लास्ट-माइल और इंट्रा-सिटी डिलीवरी में दक्षता लाने वाले स्केलेबल, एसेट-लाइट मॉडल में विश्वास को दर्शाता है।

इस बीच, मुख्य रूप से चीन में बंदरगाह की भीड़ और कंटेनर की कमी के कारण प्रमुख ट्रांस-पैसिफिक और इंट्रा-एशिया मार्गों पर माल ढुलाई दरों में 28 प्रतिशत तक की वृद्धि हुई है।

पूर्वी एशिया में कंटेनरों की भरमार के कारण दक्षिण एशिया में उपलब्धता कम हो गई है, जिससे भारतीय निर्यातकों को गारंटीकृत स्लॉट के लिए प्रीमियम का भुगतान करना पड़ रहा है।

रिपोर्ट में जोर दिया गया है कि लॉजिस्टिक्स इंडस्ट्री जलवायु परिवर्तन से निपटने में सबसे आगे है, जिसमें सस्टेनेबिलिटी तेजी से नियामक आवश्यकता से व्यवसायिक अनिवार्यता में बदल रही है।

कॉर्पोरेट रणनीतियों में ईएसजी-से जुड़े लॉजिस्टिक्स को इंटीग्रेट करने से निवेशकों, उपभोक्ताओं और नियामकों के साथ सस्टेनेबिलिटी की साख बढ़ेगी। अगले पांच से सात वर्षों में, भारत के हेवी-ड्यूटी ट्रक बेड़े का एक-तिहाई हिस्सा एलएनजी में परिवर्तित होने की उम्मीद है और कई निजी कंपनियों ने पहले ही स्वच्छ विकल्प अपनाना शुरू कर दिया है।

Continue Reading

व्यापार

दोपहिया वाहनों पर टोल लगने की रिपोर्ट का नितिन गडकरी ने किया खंडन, कहा- ऐसा कोई निर्णय प्रस्तावित नहीं

Published

on

नई दिल्ली, 26 जून। केंद्रीय सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी ने गुरुवार को दोपहिया वाहनों पर टोल लगने की रिपोर्ट्स का खंडन करते हुए कहा कि ऐसा कोई निर्णय प्रस्तावित नहीं है।

केंद्रीय मंत्री ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म ‘एक्स’ पर लिखा, “कुछ मीडिया हाऊसेस द्वारा दोपहिया वाहनों पर टोल टैक्स लगाए जाने की भ्रामक खबर फैलाई जा रही हैं। ऐसा कोई निर्णय प्रस्तावित नहीं हैं। दोपहिया वाहन के टोल पर पूरी तरह से छूट जारी रहेगी। बिना सच्चाई जाने भ्रामक खबरें फैलाकर सनसनी निर्माण करना स्वस्थ पत्रकारिता के लक्षण नहीं है। मैं इसकी निंदा करता हूं।”

दरअसल, मीडिया रिपोर्ट्स में दावा किया गया था कि राष्ट्रीय राजमार्ग के सभी टोल पर दोपहिया वाहनों को भी टैक्स देना होगा और यह नियम 15 जुलाई से लागू होगा।

रिपोर्ट में आगे कहा गया था कि टोल चुकाने के लिए दोपहिया वाहनों को भी गाड़ियों की तरह फास्टैग लेना होगा और जो वाहन इस नियम का उल्लंघन करेगा, उसे 2 हजार रुपए का जुर्माना देना होगा।

इससे पहले केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने 18 जून को वार्षिक फास्टैग का ऐलान किया था। सरकार की ओर से यह घोषणा निजी वाहन चालकों पर टोल के बोझ को कम करने के लिए की गई है।

इस दौरान केंद्रीय मंत्री ने कहा, “एक ऐतिहासिक पहल के तहत, 15 अगस्त 2025 से 3,000 रुपए की कीमत वाला फास्टैग आधारित वार्षिक पास शुरू किया जा रहा है। यह पास सक्रिय होने की तिथि से एक वर्ष तक या 200 यात्राओं तक, जो भी पहले हो, वैध रहेगा।”

इस वार्षिक पास से निजी वाहन चालकों को बार-बार फास्टैग रिचार्ज से करने से छुटकारा मिल जाएगा और वे आसानी से बिना किसी रुकावट से यात्रा कर पाएंगे।

केंद्रीय मंत्री ने अनुसार, यह वार्षिक पास केवल गैर-व्यावसायिक निजी वाहनों (कार, जीप, वैन आदि) के लिए विशेष रूप से तैयार किया गया है और यह देशभर के राष्ट्रीय राजमार्गों पर निर्बाध यात्रा को संभव बनाएगा। वार्षिक पास को रिन्यू करने लिए जल्द ही राजमार्ग यात्रा ऐप और एनएचएआई / एमओआरटीएच की वेबसाइट्स पर एक अलग लिंक उपलब्ध करवाया जाएगा, जिससे प्रक्रिया सरल और सुगम होगी।

Continue Reading
Advertisement
राजनीति21 hours ago

शिवसेना यूबीटी-एमएनएस प्रमुख, ठाकरे के अलग हुए चचेरे भाई, 2 दशक बाद वर्ली में ‘विजय’ रैली में फिर मिले

महाराष्ट्र22 hours ago

मराठी-हिंदी विवाद पर तनाव के बाद शशिल कोडियेरी की माफी

महाराष्ट्र23 hours ago

‘अगर गुजरात में अनिवार्य नहीं है तो महाराष्ट्र में क्यों?’ सुप्रिया सुले ने हिंदी लागू करने के विवाद पर केंद्र से सवाल किया

राष्ट्रीय24 hours ago

लखनऊ में हजरत अब्बास की शहादत को याद करते हुए 8वें मुहर्रम का जुलूस निकाला गया

महाराष्ट्र1 day ago

मुंबई: एनसीपी नेता नवाब मलिक के खिलाफ यास्मीन वानखेड़े के मामले में रिपोर्ट दाखिल न करने पर बांद्रा कोर्ट ने अंबोली पुलिस को फटकार लगाई

राष्ट्रीय समाचार1 day ago

गर्व का क्षण! प्रधानमंत्री मोदी के संबोधन से पहले त्रिनिदाद और टोबैगो की संसद में भारतीय राष्ट्रगान ‘जन गण मन’ बजाया गया

राष्ट्रीय समाचार1 day ago

वित्त वर्ष 2026 में भारत रिकॉर्ड 1.15 बिलियन टन कोयला उत्पादन करने के लिए तैयार है

अपराध1 day ago

दादर पुलिस ने स्कूली छात्रा का पीछा करने के आरोप में एक व्यक्ति को गिरफ्तार किया; पोस्को एक्ट के तहत मामला दर्ज

राजनीति1 day ago

ठाकरे के अलग हुए चचेरे भाई आज वर्ली में एनएससीआई डोम पर हिंदी थोपे जाने के खिलाफ मुंबई रैली में हाथ मिलाएंगे

महाराष्ट्र2 days ago

महाराष्ट्र मराठी हिंदी विवाद: कानून हाथ में लेने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी: मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस

महाराष्ट्र4 days ago

हाईकोर्ट ने मुंबई पुलिस और महाराष्ट्र प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड को नोटिस जारी किया, मस्जिदों के लाउडस्पीकर विवाद पर

अपराध4 weeks ago

राजा रघुवंशी मर्डर: मेघालय पुलिस की जांच में हत्या के दिन की पूरी कहानी आई सामने

राष्ट्रीय3 weeks ago

मुझे खुद भरोसा नहीं, मैं कैसे जिंदा निकला: अहमदाबाद विमान हादसे में बचे विश्वास कुमार ने बताया कैसे हुआ ‘चमत्कार’

महाराष्ट्र3 weeks ago

मुंबई में भारी बारिश से रेल सेवाएं प्रभावित

महाराष्ट्र3 weeks ago

मुंबई में फिलिस्तीन के समर्थन में प्रदर्शन, प्रदर्शनकारियों को हिरासत में लिया गया

दुर्घटना4 weeks ago

मुंब्रा रेलवे स्टेशन के पास लोकल ट्रेन से गिरे लोग, कई घायल, सीएम फडणवीस ने जताया दुख

महाराष्ट्र2 days ago

मुंबई: मीरा रोड में मराठी न बोलने पर दुकानदार पर हमला करने के कुछ घंटों बाद मनसे कार्यकर्ताओं को छोड़ा गया: रिपोर्ट

महाराष्ट्र4 weeks ago

एनसीपी नेता बाबा सिद्दीकी हत्याकांड का मास्टरमाइंड जीशान अख्तर कनाडा में गिरफ्तार मुंबई क्राइम ब्रांच की जांच में और प्रगति की उम्मीद, अब तक 26 आरोपी गिरफ्तार

दुर्घटना3 weeks ago

अहमदाबाद विमान हादसा : एयर इंडिया ने की पुष्टि, बताया 241 यात्रियों की गई जान

मुंबई प्रेस एक्सक्लूसिव न्यूज3 weeks ago

ब्रेकिंग न्यूज़: अहमदाबाद में एयर इंडिया का ड्रीमलाइनर टेकऑफ के कुछ मिनटों बाद दुर्घटनाग्रस्त

रुझान